अजीज कुरैशी और स्वामी प्रसाद मौर्य
की तरह कोई “हिन्दू” नेता मुस्लिमों के
लिए बोल देता तो क्या होता –
सुप्रीम कोर्ट के जज कोर्ट की
Tables पर ही “ताथा थैया” करके
“तांडव” कर रहे होते पर अब चुप हैं –
“मोहब्बत की दुकान” में नफरत का माल कैसे बेचा जा रहा है यह कांग्रेस के 83 वर्ष के अजीज कुरैशी के “जहरीले प्रवचनों” ने बता दिया – जनाब ने खुले आम “गृह युद्ध” की धमकी दे दी और कह दिया कि 1 – 2 करोड़ मुसलमान मरने के लिए तैयार बैठे हैं – वो धमकी दे गए कि हम कितने मार सकते हैं, इसका अंदाजा नहीं है आप लोगों को –
एक घिसा पिटा narrative सेट करने में लगे हैं कि मुसलमानों पर अत्याचार हो रहा है जो एक हद तक बर्दाश्त करेंगे – कांग्रेस के हिंदुत्व की तरफ बढ़ते क़दमों पर नाराजगी जताते हुए कुरैशी ने कहा कि कांग्रेस के लोग आज हिंदुत्व की बात करते हैं, जय गंगा मैया, जय नर्मदा मैया कहते हैं, ये डूब मरने की बात है – भाई सब कुछ मिलने पर भी परेशानी है तो फिर पाकिस्तान का रास्ता जाने का खुला है –
कुरैशी ने कोई नई बात नहीं कही हैं, उन्होंने वही कहा जो राहुल गांधी विदेशों में जाकर कहता फिर रहा है और हर जगह मुसलमानों को भड़का रहा है –
लेकिन कुरैशी की बात सुप्रीम कोर्ट के उन जजों को “Hate Speech” नहीं लगती जो इसके बारे में सुनवाई कर रहे हैं –
पहले रामचरितमानस का अपमान किया, फिर बद्री विशाल को बौद्ध मंदिर बताया और अब स्वामी प्रसाद मौर्य ने हिन्दू धर्म को खुलेआम गाली दे दी – उसने कहा कि “हिन्दू नाम का कोई धर्म नहीं है, ये केवल एक धोखा है” –
मौर्य ने झूठ बोला कि राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को पुष्कर मंदिर में प्रवेश नहीं करने दिया क्योंकि वे छोटी जाती के थे जबकि उन्हें वहां नहीं रोका गया और वे दर्शन पूजा करके आए थे – वह बात तो 2018 की थी जब ये मौर्य योगी सरकार में मंत्री था, फिर तब क्यों नहीं बोला – मौर्य ने यह भी आरोप लगाया कि अखिलेश के मुख्यमंत्री आवास खाली करने पर उसे गोमूत्र और गंगाजल से धोया गया था – अगर ऐसा हुआ, तब भी मौर्य भाजपा में ही था, तब क्यों नहीं बोला –
इसके दो दिन पहले अखिलेश के बेगम डिंपल यादव ने खुद को सनातनी बताया था और कहा था हिन्दू धर्म में कोई किसी का दुश्मन नहीं होता –
स्वामी प्रसाद मौर्य की बकवास पर अखिलेश यादव खामोश रहता है, अलबत्ता उसका “हरी कमीज” वाला अनुराग भदौरिया जरूर बकबक कर सकता है – डिंपल यादव भी स्वामी के बयान के बाद अभी कुछ नहीं बोली है – एक बात तो अखिलेश की हिन्दू विरोधी और घोर मुस्लिम तुष्टिकरण को देख कर लगता है कि यह और इसके लोग “कंस” के वंशज है और लालू और उसके लोग के जरासंध के – भगवान कृष्ण के यादव तो गांधारी के श्राप से समाप्त हो गए थे –
सुप्रीम कोर्ट “Hate Speech” पर अपना 2018 की “Guidelines” पर लकीर पीट रहा है और हर सुनवाई में एक ही बात कही जाती है कि नफरती भाषा किसी की हो, उस पर कार्रवाई की जाएगी – लेकिन जो बात अजीज कुरैशी और स्वामी प्रसाद मौर्य ने बोली हिन्दुओं के लिए, वह यदि कोई हिन्दू अन्य धर्म के लिए कह देता तो सुप्रीम कोर्ट के जज कोर्ट की Tables पर ही “ताथा थैया” करके “तांडव” कर रहे होते और हुकुम देते कर दो ऐसे लोगों तुरंत अंदर जो सामाजिक सौहार्द बिगाड़ रहे हैं –
लेकिन विडंबना यह है कि अब सुप्रीम कोर्ट के जजों के मुंह पर ताले लगे हैं
(सुभाष चन्द्र)
“मैं वंशज श्री राम का”