Shadow

दुनिया मे पांच बड़े धंधे हैं जो दुनिया को चलाते हैं

दुनिया मे पांच बड़े धंधे हैं.. जो दुनिया को चलाते हैं.. जो Deep State द्वारा पोषित हैं…. जहाँ से पैसा आता है.. सरकारें बदलने का, युद्ध लड़ने का.. सभ्यताओं को बर्बाद करने का.

Energy
Pharma
Defence
Infrastructure
Technology

Energy – पिछले 7-8 साल से अम्बानी अडानी लगातार निशाने पर हैं… चाहें किसान आंदोलन हो, चाहे मानवाधिकार की बात हो, चाहे सरकार से निकट होने का आरोप हो…इन दोनों को हमेशा लपेटा गया है…. पंजाब मे किसान आंदोलन के नाम पर सबसे ज्यादा हमले अम्बानी अडानी पर ही हुए… अम्बानी के Towers तोड़े गए.. वहीं अडानी का dry port बंद करा दिया गया… ऑस्ट्रेलिया मे कोयले की खान खरीदने पर हल्ला मचाया गया….कारण है इनका Energy के क्षेत्र मे उतरना.

Pharma – याद कीजिए कैसे अदर पूनावाला पर लोग हमलावर थे जब covid की vaccine बनाई जा रही थी…भारत biotech को फर्जी बताया गया.. उनके रिजल्ट्स पर सवाल उठाये गए…. कैसे जाम्बिया और उज़्बेकिस्तान मे एकाएक भारतीय दवाएं ban की गई… WHO ने ban लगाया लेकिन सबूत आज तक नहीं दिया.

Defence – make in india पर हमले किसने किये? याद कीजिए. भारतीय हथियारों को inferior बताया गया… आज अम्बानी,अडानी, महिंद्रा, टाटा, कल्याणी जैसे बड़े समूह इस क्षेत्र मे हैं…. आपको क्या लगता है… कल को इनका नम्बर नहीं आएगा??

Infrastructure – देश मे कुछ बनाना अलग बात है… लेकिन जब आपके देश के उद्योगपति बाहर जा कर project लेने लगें.. तो दर्द होना लाजिमी है. आज हमारे लोग बाहर मेट्रो projects बना रहे हैं, ports बना रहे हैं, एयरपोर्ट्स बना रहे हैं… अडानी इस मामले मे शायद लक्षमण रेखा लांघ गए…. श्रीलंका मे चीन से port छीना… इजराइल मे port ले लिया.. Africa मे कई देशों मे चीन और यूरोप की कंपनियों को सीधा टक्कर दे रहे हैं… ऐसे मे क्यों नहीं उस पर दबाव बनाया जायेगा??

Technology – यहाँ हम अभी Service Provider की तरह काम कर रहे हैं…. जिस दिन हम Technology Stack और Hardware दोनों देने लगे.. एक comprehensive solution देने लगे… हमले होने लगेंगे. पिछले कुछ सालों मे Infosys और Wipro जैसी कंपनियों पर penalty लगी हैं… हालांकि उसमे इनकी भी गलती थी.. वीसा नियमो का उल्लंघन किया था. Technology apartheid का सामना फिलहाल रूस ने किया है… रातोंरात सभी Tech कम्पनिया वहाँ से गायब हो गई.. उनकी tech कंपनियों को बाहर के देशों ने काम देना बंद कर दिया…… आपको नहीं लगता कि ऐसा भारत के साथ हो सकता है??

मामला उतना सीधा नहीं है जितना दिखता है….बेवकूफी हमारी है.. जो किसी के भी कहने पर उसकी बात सच मान लेते हैं.. और अपने ही पक्ष को कमजोर कर लेते हैं.

आप एक ऐसे प्रतिद्वंदी के सामने हैं, जिसके पास एक पूरा ecosystem है…. सरकारें हैं.. Media है, NGO हैं, Credit agencies हैं, Global Banking Cartel है, Academicia है, Intellectuals हैं.

आप सड़क बनाएंगे, वह बता देंगे कि आपका देश बड़ा गरीब है… आप Train चलाएंगे, वह छाप देंगे कि आपके देश मे खाने को रोटी नहीं है…. आप दूसरे देशों की सहायता करेंगे, वो भूख के index मे आपके स्थान का मजाक उड़ाएंगे…. आप Space मे कुछ बड़ी उपलब्धि हासिल करेंगे, वो आपकी credit rating को downgrade कर देंगे…… आप बंदरगाह बनाएंगे, Nuclear Power plant बनाएंगे… वो NGO और Environmentalists की फ़ौज आपके पीछे छोड़ देंगे.

उनके पास सब कुछ है.. आपके पास दिमाग है… दुर्भाग्य की बात है कि वह भी इस्तेमाल नहीं करते… Its a 5th Gen warfare…you are the weapon.. Its better to hit other instead of hurting urself.. Everytime.

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