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Author: Dialogue India

इंटरनेट बंदी – आदेशों की समीक्षा ज़रूरी

इंटरनेट बंदी – आदेशों की समीक्षा ज़रूरी

BREAKING NEWS, Today News, TOP STORIES, राष्ट्रीय
विश्व का सबसे बड़ा लोकतंत्र भारत, इंटरनेट बंद करने के मामले में भी सिरमौर हो गया है। यह लगातार 5 भारत लगातार ५ वाँ वर्ष है जब भारत इंटरनेट बंद करने के मामले में वैश्विक सूची में शीर्ष पर बना हुआ है।यह आकलन डिजिटल अधिकार संस्थान “एक्सेस नाउ” ने “कीप इट ऑन” के साथ गठजोड़ में जारी वार्षिक रिपोर्ट में किया है । इस रिपोर्ट के अनुसार वर्ष 2022 में भारत में आधिकारिक तौर पर 84 बार इंटरनेट बंद किया गया। आँकड़े कहते हैं सन 2016 से अब तक दुनियाभर में इंटरनेट पर बंदी लगाने की जितनी घटनाओं का दस्तावेजीकरण हुआ उनमें से 58 प्रतिशत भारत से जुड़ी हैं। इंटरनेट पर पूरी बंदी के अलावा 2015 से 2022 के बीच भारतीय अधिकारियों ने 55 हजार से अधिक वेबसाइट को ब्लॉक किया। अकेले 2022 में ऐसी 6,700 वेबसाइट और प्लेटफार्म को ब्लॉक किया गया। इंटरनेट पर ऐसी पाबंदी और सेंसरशिप अभिव्यक्ति की आजादी के मूल अधिकार का हनन ह...
रकारी बजट पर ‘रेवड़ी कल्चर’ का साया खतरनाक

रकारी बजट पर ‘रेवड़ी कल्चर’ का साया खतरनाक

BREAKING NEWS, TOP STORIES, आर्थिक, समाचार
-ललित गर्ग- सरकारों के बजट भी अब मतदाताओं को लुभाने के लिए मुफ्त उपहार बांटने, तोहफों, लुभावनी घोषणाएं एवं योजनाओं की बरसात करने का माध्यम बनते जा रहे हैं। बजट में भी ‘रेवड़ी कल्चर’ का स्पष्ट प्रचलन लगातार बढ़ रहा है, खासकर तब जब उन राज्यों में चुनाव नजदीक हों। ‘फ्रीबीज’ या मुफ्त उपहार न केवल भारत में बल्कि पूरी दुनिया में वोट बटोरने का हथियार हैं। यह एक राजनीतिक विसंगति एवं विडम्बना है जिसे कल्याणकारी योजना का नाम देकर सत्ताधारी पार्टी राजनीतिक लाभ की रोटियां सेंकती है।  यह तय करना कोई मुश्किल काम नहीं है कि कौनसी कल्याणकारी योजना है और कौनसी मुफ्तखोरी यानी ‘रेवड़ी कल्चर’ की, परंतु राजनीतिक मजबूरी इसे चुनौतीपूर्ण बना देती है। भारत जैसे विकासशील देश की विभिन्न राज्यों की सरकारें सरकारी बजट के माध्यम से आम-जनता को प्रभावित करने का हरसंभव प्रयास करती है। छत्तीसगढ़ सरकार का बजट इसका ...
दुनिया के लिए मिसाल है पेरिस का सीवरेज म्यूजियम 

दुनिया के लिए मिसाल है पेरिस का सीवरेज म्यूजियम 

विश्लेषण, सामाजिक
फ्रांस के बारे में एक कथन बहुत ही प्रसिद्ध है कि-'फ्रांस इज पेरिस, पेरिस इज फ्रांस।' पेरिस फ्रांस की राजधानी है और सबसे अधिक आबादी वाला शहर है। फ्रांस के बारे में अक्सर यह बात कि 'फ्रांस इज पेरिस, पेरिस इज फ्रांस' इसलिए कही जाती है, क्योंकि फ्रांस दुनिया का बहुत ही स्वच्छ व सुंदर शहर है। फ्रांस की स्वच्छता और सुंदरता का अंदाजा महज इस बात से लगाया जा सकता है कि फ्रांस के बारे में अक्सर यह कहा जाता है कि यहाँ मच्छर नाम की कोई चीज नहीं है। पेरिस के बारे में एक महत्वपूर्ण जानकारी अपने पाठकों को देता चलूं कि पेरिस शहर के नीचे नाले यानी कि सीवरेज का एक बहुत बड़ा म्यूजियम बना हुआ है, यह दुनिया में अपनी प्रकार का बहुत ही अनोखा व प्राचीन म्यूजियम है। सिवरेज जिसे हमारे भारत में 'गंदा नाला' या 'गटर' की संज्ञा दी जाती है, पेरिस शहर में सीन नामक नदी के नीचे यह म्यूजियम है। गंदे नालों(सीवरेज) में किसी ...
होली पर बांसुरी, चंग,धमाल दिन-ब-दिन अब पड़ रहे फीके !

होली पर बांसुरी, चंग,धमाल दिन-ब-दिन अब पड़ रहे फीके !

TOP STORIES
होली इस बार सात मार्च को तो धुलंडी(रंग खेलने का दिन) आठ मार्च को है। वास्तव में,होली का त्योहार ऐसे समय में आता है जब वातावरण में एक नवीन ऊर्जा समाई होती है, प्रकृति अपने रंगों से निखर रही होती है, न सर्दी, न ही गर्मी। ऐसे में प्रत्येक व्यक्ति का मन मयूर की भांति चहकने लगता है, महकने लगता है। होली पर हर तरफ रंगों की बरसात होती है, पर्यावरण की छटाओं में रंग ही रंग छा जाते हैं, घुल जाते हैं। रंगों की महक हमारे तन-मन को स्फूर्ति, आनंद, उल्लास व ऊर्जा से परिपूर्ण कर देती है। हमारे देश की संस्कृति के सभी पर्व ,त्योहार आदमी को आदमी से जोड़ते हैं, होली भी एक ऐसा ही त्योहार है जो हमारे रिश्तों को जोड़ता है, सहेजकर रखता है, हमें आपसी मजबूत बंधन में बांधता है। होली के रंग बिखरते हैं तो मन जुड़ते हैं, टूटते नहीं हैं। लेकिन अब विरले ही होली के त्योहार पर धमाल व राजस्थानी लोक गीत, स्वांग, हंसी ठिठौली ...
अडानी-श्रीलंकाः मोदी की चुप्पी?

अडानी-श्रीलंकाः मोदी की चुप्पी?

TOP STORIES, समाचार
डॉ. वेदप्रताप वैदिक गौतम अडानी और हिंडनबर्ग रिपोर्ट के मामले पर नए रहस्योद्घाटन लगभग रोज़ ही हो रहे हैं। इस बार का संसद का सत्र भी इसी मामले का शिकार होनेवाला है, क्योंकि विपक्ष के पास इसके अलावा कोई बड़ा मुद्दा है ही नहीं। वैसे एक मुहावरे में कहा भी गया है कि ‘भागते भूत की लंगोटी ही काफी।’ अब अंग्रेजी के ‘हिंदू’ अखबार में श्रीलंका के विदेश मंत्री अली साबरी की एक भेंटवार्ता छपी है। उसमें साबरी ने दावा किया है कि श्रीलंका की सरकार के साथ अडानी के कोलंबो बंदरगाह और विद्युत परियोजना के जो सौदे हुए हैं, वे ऐसे ही हैं, जैसे कि दो सरकारों के बीच होते हैं। यह कथन बहुत मायने रखता है। पता नहीं, यह बोलते हुए साबरी को इस बात का ध्यान रहा या नहीं कि अडानी और हमारी सरकार के संबंधों को लेकर यहां बड़ा बावेला उठ खड़ा हुआ है। साबरी ने श्रीलंका के इस भयंकर संकट के समय भारत द्वारा दी गई प्रचुर सहायता के ...
We Fight Against Khalistanis, Not Against Idea Of Khalistan

We Fight Against Khalistanis, Not Against Idea Of Khalistan

राज्य, राष्ट्रीय
By Balbir Punj Many of us, who saw thousands of Amritpal’s supporters, some of them brandishing swords and guns, stomping through barricades and barging into a police station in Ajnala, near Amritsar on February 23 last, and hapless policemen scurrying for cover, were shocked. The disturbing scenes were reminiscent of dark days of terror that rocked Punjab in 1980s. The script was too familiar and ominous. Many analysts, discussing the sordid episode threadbare, concluded that the Khalistan doctrine was far from dead, with inherent potential to push the border state back to an internecine war, bleeding it white in the process. Whatsoever happened in the border state on that fateful day appeared to be a page straight from the horror book that shook the country during the decade betwe...
WINTER AIR POLLUTION TRENDS IN OTHER CITIES IN INDIA

WINTER AIR POLLUTION TRENDS IN OTHER CITIES IN INDIA

प्रेस विज्ञप्ति
WINTER AIR POLLUTION TRENDS IN OTHER CITIES IN INDIA CSE analyses winter air pollution trends in major cities across India Finds Kolkata and Mumbai were the most polluted after Delhi, while Bengaluru and Chennai saw thefastest worsening of PM2.5 levels CSE analysis looks at the five mega cities (besides Delhi-NCR) of Kolkata-Howrah, Mumbai, Hyderabad, Bengaluru and Chennai Bengaluru and Hyderabad experienced worst peak pollution this winter in last four years If Delhi is excluded, then Kolkata had the highest number of “very poor” AQI days this winter; Mumbai had the least number of “good”AQI days Worst locations within mega cities had pollution level 50 per cent higher than city-wide averages Delhi, Kolkata and Mumbai had lower pollution peak levels during this w...
बंगला कृत्तिवास रामायण में जब हनुमान्जी ने क्यों अपना सीना चीरकर दिखाया?

बंगला कृत्तिवास रामायण में जब हनुमान्जी ने क्यों अपना सीना चीरकर दिखाया?

धर्म
श्रीरामकथा के अल्पज्ञात दुर्लभ प्रसंग हमने कई चित्र ऐसे देखे हैं कि हनुमानजी अपना सीना फाड़कर उसमें प्रभु श्रीराम सीताजी सहित दर्शन करा रहे हैं। अब प्रश्न यह उपस्थित होता है कि हनुमानजी को ऐसा क्यों करना पड़ा? यह दृश्य कब का है? इत्यादि। इन सब प्रश्नों का उत्तर बंगला कृत्तिवास रामायण के लंकाकाण्ड के अंतर्गत श्रीराम के राज्याभिषेक के शुभ अवसर का बड़े ही रोचकतापूर्ण वर्णित है।श्रीराम के अयोध्यापुरी में राज्याभिषेक के शुभ अवसर पर अदृश्य रूप से ब्रह्माजी ने स्वर्ण-कमलों की माला आकाश से समर्पित की, जो श्रीराम के गले की शोभा बढ़ाने लगी। नाना प्रकार के मणि-माणिक्य, पारस-पत्थर से बना कुबेर का हार श्रीराम के कंठ की शोभा में चार चाँद लगा रहा था। देवताओं के द्वारा भेंट किए गए आभूषणों से श्रीराम संसार में पूजित हुए। जिस भी मनुष्य में श्रीराम के राज्याभिषेक के बारे में सुना उसी की पार्थिव सम्पदा बढ...
श्रीराम की बारात में महिलाओं की सहभागिता

श्रीराम की बारात में महिलाओं की सहभागिता

धर्म, संस्कृति और अध्यात्म
श्रीरामकथा के अल्पज्ञात दुर्लभ प्रसंग श्रीराम की बारात में महिलाओं की सहभागिता महर्षि वाल्मीकिकृत रामायण तथा गोस्वामी तुलसीदासजीकृत श्रीरामचरितमानस में श्रीराम द्वारा शिव-धनुष भंग होने के उपरान्त राजा दशरथजी को श्रीराम के विवाह हेतु मिथिला नरेश ने दूतों द्वारा निमन्त्रण भेजा गया। इस निमन्त्रण पत्र के अनुसार अयोध्या से राजा दशरथजी गुरु वसिष्ठ, वामदेव, जाबालि, कश्यप, मार्कण्डेय, कात्यायन, ब्रह्मर्षि तथा मंत्रियों सहित श्रीराम के विवाह में सम्मिलित होने गए। दशरथजी के दो पुत्र भरत एवं शत्रुघ्न भी उनके साथ गए थे। इनके अतिरिक्त दशरथजी के साथ उनकी रानियों एवं दासियों का उनके साथ जाने का वर्णन नहीं है। इस तरह श्रीरामजी के विवाह में महिलाओं का बारात में न जाना उनकी सहभागिता का अभाव लगता है।अत: सुधीजनों एवं पाठकों के लिए विभिन्न रामायणों में अध्ययन करने पर ज्ञात हुआ कि श्रीरामजी के विवाह में ...
मोहन भागवत और राहुल गांधी

मोहन भागवत और राहुल गांधी

TOP STORIES, समाचार
डॉ. वेदप्रताप वैदिक देश के अखबारों में छपे दो भाषणों पर आपका ध्यान जाए तो आपको आनंद और दुख एक साथ होंगे। आनंद देनेवाला भाषण तो राष्ट्रीय स्वयंसेवक के मुखिया मोहन भागवत का है और दूसरा दुखद भाषण राहुल गांधी का है। भागवत ने कहा है कि अंग्रेजों के आने के पहले भारत में 70 प्रतिशत लोग शिक्षित थे जबकि इंगलैंड में उस समय सिर्फ 17 प्रतिशत अंग्रेज शिक्षित थे। अंग्रेजों ने, खासकर लाॅर्ड मैकाले ने जो शिक्षा पद्धति भारत में चलाई, उसके कारण भारत में शिक्षितों की संख्या घटती गई। आज भारत के साक्षरों की संख्या सिर्फ 77 प्रतिशत है जबकि चीन, जापान, श्रीलंका, ईरान जैसे देशों में वह संख्या 90 से 99 प्रतिशत है। भारत के ये लोग शिक्षित नहीं माने जा सकते हैं। इन्होंने कोई विशारद या शास्त्री या एम.ए.-बी.ए. पास नहीं किया है। ये केवल साक्षर हैं याने सिर्फ अक्षरों और अंकों को जानते-पहचानते हैं। इतनी बड़ी संख्या भी...