राष्ट्रीय शिक्षक दिवस के अवसर पर प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने एक नई पहल ‘पीएम श्री स्कूल्स (पीएम स्कूल्स फॉर राइजिंग इंडिया)’ की घोषणा की। यह देश भर में 14500 से भी अधिक स्कूलों को उन्नत और विकसित करने के लिए एक नई केंद्र प्रायोजित योजना होगी जिसके तहत केंद्र सरकार/राज्य/केंद्र शासित प्रदेश सरकार/स्थानीय निकायों द्वारा प्रबंधित स्कूलों में से चयनित मौजूदा स्कूलों को मजबूत बनाया जाएगा। पीएम श्री स्कूलों में राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के सभी घटकों या विशेषताओं का समावेश होगा और ये अनुकरणीय स्कूलों के रूप में कार्य करेंगे और इसके साथ ही अपने आसपास के अन्य स्कूलों का भी मार्गदर्शन करेंगे। इन स्कूलों का उद्देश्य न केवल गुणात्मक शिक्षण, शिक्षा और संज्ञानात्मक या बौद्धिक विकास करना होगा, बल्कि 21वीं सदी के प्रमुख कौशल से लैस समग्र एवं हरफनमौला विद्यार्थियों को तैयार करना होगा।
इन स्कूलों में अध्यापन कहीं अधिक अनुभवात्मक, समग्र, एकीकृत, खेल/खिलौना आधारित (विशेषकर, आरंभिक वर्षों में), पूछताछ-आधारित, खोज-उन्मुख, शिक्षार्थी-केंद्रित, चर्चा-आधारित, लचीला और आनंददायक होगा। प्रत्येक कक्षा में प्रत्येक बच्चे द्वारा ज्ञान प्राप्ति में दक्षता प्राप्त करने पर ध्यान दिया जाएगा। सभी स्तरों पर आकलन वैचारिक समझ और वास्तविक जीवन जैसी स्थितियों में संबंधित ज्ञान या जानकारियों के उपयोग पर आधारित होगा और क्षमता आधारित होगा।
ये स्कूल आधुनिक बुनियादी सुविधाओं से सुसज्जित होंगे जिनमें लैब, स्मार्ट क्लासरूम, पुस्तकालय, खेल उपकरण, आर्ट रूम, इत्यादि शामिल हैं जो समावेशी और सुगम्य हैं। इन स्कूलों को पाठ्यक्रम में जल संरक्षण, अपशिष्ट पुनर्चक्रण, कम ऊर्जा खपत वाली बुनियादी ढांचागत सुविधाओं और छात्रों एवं पर्यावरण के लिए स्वस्थ जीवन शैली का एकीकरण करके ‘हरित स्कूलों’ के रूप में भी विकसित किया जाएगा।
ये स्कूल अपने-अपने क्षेत्रों में एक ऐसे एकसमान, समावेशी और आनंदमय स्कूली माहौल में गुणवत्तापूर्ण या बेहतरीन शिक्षा प्रदान करने में नेतृत्व करेंगे जिसमें बच्चों की विविध पृष्ठभूमि, बहुभाषी जरूरतों एवं विभिन्न शैक्षणिक क्षमताओं का ख्याल रखा जाएगा और इसके साथ ही एनईपी 2020 के विजन के अनुसार उन्हें स्वयं सीखने की प्रक्रिया में सक्रिय भागीदार बनाएगा।