प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना (पीएमजीएसवाई) का क्रियान्यवन देशभर में और विशेष तौर पर ग्रामीण क्षेत्रो में कम सड़क वाले राज्यों जैसे आसाम, पश्चिम बंगाल, ओड़िसा, बिहार, झारखंड, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ राजस्थान, हिमाचल प्रदेश, जम्मू एवं कश्मीर और उत्तराखंड में किया जा रहा है। वर्ष 2016-17 में पीएमएसजीवाई सड़क निर्माण की गति सात वर्ष में सबसे अधिक 130 किलोमीटर प्रतिदिन के स्तर पर पहुंच गई जबकि वर्ष 2011-2014 के दौरान औसत 73 किलोमीटर का ही निर्माण हुआ था। वर्तमान वित्तीय वर्ष 2017-18 मे 156 किलोमीटर प्रतिदिन के औसत से 57 हजार किलोमीटर सड़क निर्माण का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। जिससे 16,600 बस्तियों को संपर्क प्रदान किया जा सकेगा।
वर्तमान वित्तीय वर्ष 2017-18 की पहली तिमाही (अप्रैल-जून) मे 117.28 किलोमीटर प्रतिदिन के औसत से 10,556 किलोमीटर सड़क का निर्माण किया गया। वर्ष 2016-17 कि पहली तिमाही (अप्रैल-जून) में 97.29 किलोमीटर की औसत से 8,756 किलोमीटर सड़क निर्माण के अनुपात में यह महत्वपूर्ण वृद्धि है। वर्तमान वित्तीय वर्ष मे कुल लंबाई निर्माण की प्रगति के संबंध मे 18.51 प्रतिशत निर्माण हो चुका है। ये सभी आकड़े साबित करते है कि वार्षिक लक्ष्य को प्राप्त करने के साथ-साथ इससे भी अधिक वृद्धि होगी।
16,600 बस्तियों को संपर्क प्रदान करने के वार्षिक लक्ष्य के सापेक्ष 2,543 बस्तियों को संपर्क प्रदान किया गया। जोकि वार्षिक लक्ष्य का 15.31 प्रतिशत है।
प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना में सड़क निर्माण के लिए गैर परंपरागत निर्माण सामग्री के प्रयोग पर विशेष ध्यान केद्रित किया गया है वर्ष 2017-18 के दौरान इस प्रकार की सामग्री और प्रौद्योगिकी के प्रयोग का लक्ष्य 10,082 किलोमीटर रखा गया है। इस लक्ष्य के सापेक्ष वित्तीय वर्ष की पहली तिमाही में जून 2018 तक 1,235.22 किलोमीटर का निर्माण किया गया है। इस संबंध में महत्वपूर्ण निर्माण करने वाले राज्यो में राजस्थान(381किलोमीटर), पंजाब(181 किलोमीटर),ओडिसा(131.38किलोमीटर), मध्यप्रदेश(116.07 किलोमीटर), तमिलनाडु(102 किलोमीटर)सम्मिलित हैं।
वीके/एजे/पीबी – 1958