Shadow

Author: Dialogue India

नए भारत का आगाज़

नए भारत का आगाज़

addtop, Today News, राष्ट्रीय
यह सेना की बहुत बड़ी सफलता है कि उसने पुलवामा हमले के मास्टरमाइंड अब्दुल रशीद गाज़ी को आखिरकार मार गिराया हालांकि इस ऑपरेशन में एक मेजर समेत हमारे चार जांबांज सिपाही वीरगति को प्राप्त हुए। देश इस समय बेहद कठिन दौर से गुज़र रहा है क्योंकि हमारे सैनिकों की शहादत का सिलसिला लगातार जारी है। अभी भारत अपने 40 वीर सपूतों को धधकते दिल और नाम आँखों से अंतिम विदाई दे भी नहीं पाया था, सेना अभी अपने इन वीरों के बलिदान को ठीक से नमन भी नहीं कर पाई थी, राष्ट्र अपने भीतर के घुटन भरे आक्रोश से उबर भी नहीं पाया था, कि 18 फरवरी की सुबह फिर हमारे पांच जवानों की शहादत की एक और मनहूस खबर आई। पुलवामा की इस हृदयविदारक घटना में सबसे अधिक पीड़ादायक बात यह है कि वो 40 सीआरपीएफ के जवान किसी युद्ध के लिए नहीं गए थे। वे तो छुट्टियों के बाद अपनी अपनी डयूटी पर लौट रहे थे। "जिहाद" की खातिर एक आत्मघाती हमलावर ने सेना के काफि...
Mobile phone companies should provide details of incoming and missed calls also

Mobile phone companies should provide details of incoming and missed calls also

addtop, BREAKING NEWS, TOP STORIES, समाचार
Mobile-phone service-providers turn down requests made for details of ‘Incoming’ and ‘Missed’ calls on mobile-numbers of the person/s making such a request in name of ‘privacy’, while companies are providing details of ‘Outgoing’ calls even without being asked for.   It is beyond understanding how and why the company can claim ‘privacy’ on providing the sought data when the calls are made to persons requesting such details of ‘Incoming’ and ‘Missed’ calls received on his mobile-numbers. Providing details of ‘Incoming’ and ‘Missed’ calls on request is of utmost importance in cases of obscene/threatening/harassing/fraud calls received by person/s requesting for details of Incoming’ and ‘Missed’ calls. Such details are also of importance because of unwanted calls interrupting despi...
Immediate abolition of articles 35A and 370 of the Constitution necessary

Immediate abolition of articles 35A and 370 of the Constitution necessary

addtop, BREAKING NEWS, TOP STORIES, राज्य
Funds under Corporate Social Responsibility and MPLADS for families of war-victims   Indian government has taken several practical steps including abolition of government-provided security to separatist-leaders, snatching status of Most-Favoured-Nation from Pakistan, increasing custom-duty on imports from Pakistan, giving totally free hand to security-forces to tackle militancy and like others. Economic steps initiated from India will virtually destroy Pakistan economically which is even more critical than war-sufferings. It was indeed shocking that Pakistan never gave India status of Most-Favoured-Nation.   But real remedy lies in abolition of articles 35A and 370 which will make retired army-persons and others to settle in Kashmir. Setting up of industries in Kashmir the...
यह समृद्धि का कैसा विकास है?

यह समृद्धि का कैसा विकास है?

addtop, EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, विश्लेषण
व्यक्ति, समाज एवं राष्ट्र के विकास को नापने का एक ही पैमाना है और वह है समृद्धि। व्यक्ति का विकास मतलब व्यक्ति की समृद्धि और देश का विकास मतलब देश की समृद्धि। समृद्धि का भी अर्थ निश्चित और सीमित कर दिया गया है। पैसों और संसाधनों का अधिकाधिक प्रवाह ही समृद्धि का अर्थ है। पैसे भी संसाधनों से ही आते हैं। इसलिए कुल मिलाकर अधिकाधिक संसाधन चाहिए। इस संसाधनों के संचयन की होड़ पूरी दुनिया में लगी हुई है। इसके लिए हम किसी भी चीज की बलि चढ़ाने के लिए तैयार हैं, चढ़ा भी रहे हैं। चूँकि संसाधन हमें प्रकृति से ही मिलते हैं, इसलिए बलि भी प्रकृति की ही चढ़ाई जा रही है। इसका परिणाम यह हो रहा है कि हमारी समृद्धि तो बढ़ रही है परन्तु वास्तविक तौर पर हम गरीब हो रहे हैं। यह गरीबी पर्यावरण और पारिस्थितिकी की है। हमारी जैव-विविधता खतरे में है, हमारा पेयजल खतरे में है, हमारी शुद्ध हवा और उपजाऊ जमीन खतरे में है यही कार...
अब छलनी कर दो मौत के सौदागरों को

अब छलनी कर दो मौत के सौदागरों को

addtop, Today News, TOP STORIES, राष्ट्रीय
पुलवामा में सीआरपीएफ के 44 जवानों को देश ने एक आतंकी कार्रवाई में खो दिया है। जाहिर है कि सारे देश में इस घटना को लेकर भारी गुस्सा है, आक्रोश है। 125 करोड़ भारतीय स्तब्ध हैं, शोकाकुल हैं और जवाबी कारवाई के लिए आतूर हैं । अब इस भयावह हमले का गहराई से विश्लेषण भी चालू हो गया है। यह विश्लेषण तो कई दिनों तक चलता ही रहेगा। कहा यह जा रहा है कि खुफिया सूत्रों ने हमले की आशंका एक दिन पहले ही व्यक्त कर दी थी, फिर भी सुरक्षाबल ने इस और ध्यान क्यों नहीं दिया। जम्मू-कश्मीर के राज्यपाल सतपाल मलिक ने  भी माना है कि प्रशासन की तरफ़ से इस मामले में चूक हुई है। उन्होंने कहा कि इतनी बड़ी संख्या में एक साथ जवानों की मूवमेंट नहीं होनी चाहिए थी। अब अपने आप में बड़ा सवाल यह है कि खुफिया एजेंसियों के इनपुट की अनदेखी क्यों होती है? हरेक बड़ी घटना के बाद खबरें आने लगती हैं कि खुफिया एजेंसियों ने हमले की आशंका तो पह...
पिघल रहे हैं गंगोत्री के सहायक ग्लेशियर

पिघल रहे हैं गंगोत्री के सहायक ग्लेशियर

TOP STORIES, विश्लेषण
एक ताजा अध्ययन में पता चला है कि गंगोत्री का सहायक ग्लेशियर चतुरंगी तेजी से पिघल रहा है। गंगोत्री गंगा के जल का मुख्य स्रोत है, जिसके सहायक ग्लेशियरों के पिघलने का असर गंगा नदी के प्रवाह पर पड़ सकता है। अध्ययनकर्ताओं का कहना है कि करीब 27 वर्षों में चतुरंगी ग्लेशियर की सीमा करीब 1172 मीटर से अधिक सिकुड़ गई है। इस कारण चतुरंगी ग्लेशियर के कुल क्षेत्र में 0.626 वर्ग किलोमीटर की कमी आयी है और 0.139 घन किलोमीटर बर्फ कम हो गई है। अल्मोड़ा के जी.बी. पंत राष्ट्रीय हिमालयी पर्यावरण एवं सतत विकास संस्थान और बेंगलुरु स्थित भारतीय विज्ञान संस्थान के वैज्ञानिकों द्वारा किए गए अध्ययन में वर्ष 1989 से 2016 तक के उपग्रह से प्राप्त आंकड़ों और काइनेमैटिक जीपीएस (एक उपग्रह नेविगेशन तकनीक) का उपयोग किया गया है। इस अध्ययन से जुड़े जी.बी. पंत राष्ट्रीय संस्थान के शोधकर्ता किरीट कुमार ने इंडिया साइंस व...
\HOW FAR SHOULD INDIA TRUST CHINA

\HOW FAR SHOULD INDIA TRUST CHINA

addtop, BREAKING NEWS, TOP STORIES, विश्लेषण
“It is in India’s interest to see China strong enough to provide credible bi-polarity in the interregnum during which the world moves towards the establishment of a globally respected United Nations system; one which would be capable of enforcing its mandate without let or hindrance. At the same time it is vital to India’s interest to NEVER underestimate China’s threat potential”. Excerpt from a talk delivered at the United Service Institution by the writer in 1999 “Dealing with China in the 21st Century”*.    * Man is the only animal who keeps smiling at his foes till he is ready to eat them up. (Chinese proverb) * India and China represent two of the earliest civilizations that have been continuously able to hold on to their older traditions since the dawn of history. Histori...
भयंकर हादसों में मुँह फेर कबतक सोते रहेंगे हम ?

भयंकर हादसों में मुँह फेर कबतक सोते रहेंगे हम ?

addtop, Today News, TOP STORIES, विश्लेषण
23 दिसम्बर,1995 को हरियाणा के मंडी डबवाली और 13 जून,1997 को राजधानी के उपहार सिनेमाघर में हुए दिल-दलहाने वाले अग्निकांडों के बाद 12 फरवरी,2019 की तिथि भी इन्हीं मनहूस तिथियों की सूची में शामिल हो गई है I राजधानी के खासमखास बाज़ार करोल बाग के होटल अर्पित पैलेस में 12 फरवरी को तड़के भीषण आग गई। आग की चपेट में आने से 17 लोगों की दर्दनाक मौत हो गई। जैसा कि हमारे यहां रस्म अदायगी होती है, हादसे के बाद घटनास्थल पर मुख्यमंत्री और उपराज्यपाल भी पहुंच गए। कुछ देर तक घटनास्थल पर रहने के बाद फोटो सेशन और टी. वी. बाईट देकर वहां से निकल गए। अगर इन्होंने ही समय रहते नियमों का उल्लंघन करके चल रहेइन तमाम होटलों पर कार्रवाई कर ली होती तो करोलबाग जैसे गुलजार रहने वाले बाजार में मौत का मातम नहीं मनाया जाता। वहां की रोजमर्रा जिंदगी अपनी रफ्तार से चल रही होती। यहां अपने होटल में सोए लोग हमेशा के लिए मौत की गोद ...
बाजारवाद के इस दौर में प्रेम भी तोहफों का मोहताज़ हो गया

बाजारवाद के इस दौर में प्रेम भी तोहफों का मोहताज़ हो गया

addtop, Today News, TOP STORIES, विश्लेषण
वे हमें करोड़ों के विज्ञापनों से यह बात समझा कर अरबों कमाने में कामयाब हो गई हैं कि "इफ यू लव समवन शो इट", यानी, अगर आप किसी से प्रेम करते हैं तो "जताइए"  और वैलेंटाइन डे इसके लिए सबसे अच्छा दिन है। वैलेंटाइन डे, एक ऐसा दिन जिसके बारे में कुछ सालों पहले तक हमारे देश में बहुत ही कम लोग जानते थे, आज उस दिन का इंतजार करने वाला एक अच्छा खासा वर्ग उपलब्ध है। अगर आप सोच रहे हैं कि केवल इसे चाहने वाला युवा वर्ग ही इस दिन का इंतजार विशेष रूप से करता है तो आप गलत हैं। क्योंकि इसका विरोध करने वाले बजरंग दल, हिन्दू महासभा जैसे हिन्दूवादी संगठन भी इस दिन का इंतजार उतनी ही बेसब्री से करते हैं। इसके अलावा आज के भौतिकवादी युग में जब हर मौके और हर भावना का बाज़ारीकरण हो गया हो, ऐसे दौर में  गिफ्ट्स टेडी बियर चॉकलेट और फूलों का बाजार भी इस दिन का इंतजार  उतनी ही व्याकुलता से करता है। आज प्रेम आपके दिल और उ...
“हिंदुत्व के मूल तत्वों को पहचानो”

“हिंदुत्व के मूल तत्वों को पहचानो”

addtop, EXCLUSIVE NEWS, राष्ट्रीय
हिंदुत्व के मूल तत्व और सिद्धांतों की अवहेलना करके वर्षों से राष्ट्रीय हितों को आहत किया जाना प्रायः सामान्य हो गया है। देश की प्राचीन संस्कृति व सभ्यता और अपने ही प्रेरणाप्रद व आदर्श महापुरुषों के विरुद्ध नकारात्मक वातावरण बनाना प्रगतिशीलता बनता जा रहा है। जबकि ऐसे अन्यायों के विरुद्ध हिंदुओं के  आक्रोशित होने को अनुचित माना जाता है। लेकिन हमारा धर्म ऐसे अन्याय सहने को भी पाप कर्म ही मानता है। क्या किसी षड्यंत्र के अंतर्गत केवल अहिंसा व सहिष्णुता आदि सहृदयता का पाठ हमको व हमारे पिता-दादा-पितामाह आदि पूर्वजों को शताब्दियों से पढ़ाया जाता रहा। वास्तव में मुगल काल के आरंभ से ही धीरे धीरे हिंदुओं को साधारणतः सहिष्णुता, अहिसंक, उदारता व अतिथि देवो भवः आदि विशेष का पाठ पढ़ाया गया । यहाँ तक कुछ अनुचित नहीं था। परंतु हम अपने स्वाभिमान को खोकर और अपने अस्तित्व को संकट में डाल कर इन सदगुणों को ढोते ...