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India Strikes Back

India Strikes Back

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Balbir Punj The massive crack down by Punjab Police since Saturday last (March 18, 2023) on Khalistan secessionist elements led by Amritpal Singh (30), chief of “Waris Punjab De”, in co-ordination with various central agencies and backing of Union Government, comes as a silver lining in an otherwise dark political horizon where narrow political considerations, coupled with intra party internecine political wars , usually overshadow all other concerns, including the ones with grave security implications for the country. However, in this case, India has hit back, as one man, on separatist forces which are seeking to push Punjab back to the dark days of 1980-90 - when terror ruled the state. During that difficult decade, all social, economic and political activities had come to an halt...
जान के दुश्मन बनते आवारा कुत्ते

जान के दुश्मन बनते आवारा कुत्ते

TOP STORIES, राज्य, विश्लेषण, सामाजिक
भारत के मीडिया में लगातार ‘आवारा कुत्तों का खतरा’ सुर्खियों में रहता है। पिछले पांच वर्षों से, 300 से अधिक लोग - ज्यादातर गरीब और ग्रामीण परिवारों के बच्चे - कुत्तों द्वारा मारे गए हैं। 2017 के एक अध्ययन से पता चला है कि ग्रामीण क्षेत्रों में बेघर कुत्ते भी वन्यजीवों के लिए विनाशकारी हो सकते हैं। इसके बावजूद इन खबरों के प्रति समाज बेसुध बना रहता है। कभी-कभार यह जड़ता कुछ भयावह घटनाओं के साथ टूट जाती है। राज्यों, केंद्र, न्यायपालिका, नगर पालिका और गैर-सरकारी संगठनों द्वारा इस संकट की स्वीकृति के बावजूद यह समस्या बढ़ती ही जा रही है। -प्रियंका सौरभ कुत्तों का मानव के विकास क्रम के साथ साहचर्य का एक अनूठा संबंध रहा है। यह उनके कल्याण के लिए जिम्मेदार होने की नैतिक दुविधा इंसान के सामने पैदा करता है, लेकिन इसके अपने खतरे भी हैं क्योंकि कुत्तों का विकास भेड़िये और उसकी प्रवृत्ति से जुड़ा ...
निरंतर बढ़ रही है योगी जी की लोकप्रियता

निरंतर बढ़ रही है योगी जी की लोकप्रियता

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प्रदेश में अब सांस्कृतिक राष्ट्रवाद और विकास के बल पर बदलाव की बयारमृत्युंजय दीक्षितउत्तर प्रदेश में वर्ष 2017 में प्रचंड मोदी लहर पर सवार होकर भाजपा सत्ता में आयी और योगी आदित्यनाथ प्रदेश के मुख्यमंत्री बने।पार्टी और जनसामान्य की अपेक्षाओं पर खरे उतरते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने न केवल अपना पहला कार्यकाल सफलतापूर्वक पूरा किया वरन पूर्ण बहुमत से दोबारा सत्ता में वापसी की और इसी माह अपने कार्यकाल के छह सफल वर्ष पूरे किए। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की लोकप्रियता व उनके कार्यों की गूंज अब केवल प्रदेश में ही अपितु पूरे देश में सुनाई दे रही और वो प्रदेश के अब तक के सबसे लोकप्रिय मुख्यमंत्री बन गये हैं।प्रदेश में योगी सरकार के छह वर्ष पूर्ण होने के बाद सोशल मीडिया में यदि सबसे ज्यादा किसी नेता को सर्च किया गया है तो वह मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ही हैं। योगी राज के दूसरे ...
पंजाब में आतंकवाद

पंजाब में आतंकवाद

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पंजाब, भारत का एक ऐसा प्रदेश है, जिस पर ईश्वर व गुरू का आशीर्वाद सदैव ही बना रहा है। इसका एक कारण यह भी है कि वहाँ की धरती पवित्र, जलवायु स्फूर्तिवर्धक एवं संस्कृति गौरव से परिपूर्ण है। सम्पूर्ण विश्व में संस्कृति सम्पन्न पंजाब प्रदेश अपनी एक अलग पहचान बनाए हुए है। इतिहास साक्षी है कि पंजाब प्रदेश के नागरिक जब भी किसी देश में किसी भी विशिष्ट उद्देश्य से गए, वहाँ पर उन्होंने न केवल अपना अपितु भारत देश का नाम भी स्वर्ण अक्षरों में अंकित कराया है। उनके विशिष्ट कार्यों की यदि हम चर्चा करें तो उन्होंने, विश्व में कहीं भी प्राकृतिक विपदा अथवा युद्ध होने पर वहाँ की जनता के समक्ष ईश्वर सदृश प्रत्यक्ष उपस्थित होकर उनकी भोजन, कपड़े तथा आवास की सुविधा प्रदान करके अथवा अप्रत्यक्ष रूप से धनराशि दान करके इन पंजाब के सिक्खों ने अपने धर्म का गौरव बढ़ाया है।प्रत्येक धर्म में सत्य के पथ की ओर अग्रसर होने व...
आप भी देश के नागरिक हैं, उससे ऊपर नहीं

आप भी देश के नागरिक हैं, उससे ऊपर नहीं

EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, राज्य, राष्ट्रीय, सामाजिक
देश पर आधी शताब्दी तक राज करने वाली कांग्रेस पता नहीं क्यों, यह समझने को तैयार नहीं है कि उसके सिरमौर गांधी परिवार के राजनीतिक वारिस राहुल गांधी को आपराधिक मानहानि के मामले में अदालत ने सजा सुनाई है? यह सजा सरकार ने नहीं सूरत के एक न्यायालय ने सुनाई है।यह सामान्य समझ की बात है कि अदालत अगर किसी व्यक्ति को किसी मामले में दोषी पाते हुए उसे सजा सुना दे तो दोषी व्यक्ति या उसके समुदाय को सड़कों पर हंगामा करते , क्या आपने कभी देखा है कि यदि कोई जाँच एजेंसी या पुलिस किसी व्यक्ति को पूछताछ के लिए बुलाये या जाँच एजेंसी किसी के पास पूछताछ के लिए जाये तो वह व्यक्ति या उसका परिवार सड़क पर हंगामा करने लगता है? नहीं ना। जब देश का आम व्यक्ति कानून का पालन करता है। नोटिस मिलने पर जांच एजेंसी के समक्ष हाजिर होता है। सजा सुनाये जाने पर जेल जाता है या उस फैसले को चुनौती देता है तो वीआईपी व्यक्ति ऐसा क्यों न...
यदि स्पष्ट बहुमत न होता तो योगी सरकार अब तक गिर जाती।

यदि स्पष्ट बहुमत न होता तो योगी सरकार अब तक गिर जाती।

EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, राज्य, विश्लेषण
उत्तरप्रदेश में जो हो रहा है। वह सामान्य घटनाएं नहीं है।हर जिले में माफ़िया का साम्राज्य स्थापित था। यदि इसका सम्पूर्ण वर्णन किया जाय तो उस पूरी कहानी को पढ़ने वाला यह समझेगा कि यह उत्तरप्रदेश नहीं है। सोमालिया, युगांडा कि बात हो रही है।*इससे समझिये कि 12 हजार इनकाउंटर और तीन सौ बदमाश मारने के बाद भी अभी स्थिति पटरी पर नहीं आई है।* कोई पाँच हजार करोड़ कि संपत्ति जप्त हुई है।यह तो अब स्पष्ट हो चुका है कि उस समय कि नौकरशाही का एक वर्ग इन आपराधिक कृत्यों में शामिल था।*पूर्व DGP बृजलाल बताते है कि जिस समय पहली मुख्तार अंसारी पकड़ा गया तो वह जेल में दरबार लगाता था। जिले के DM उसके साथ बैडमिंटन खेलते थे।**अतीक अहमद को पकड़ने वाले पूर्व DSP देवेन्द्रराय जब उसके घर गये तो CRP के IG उसके साथ बैठे थे।**2017 तक कम से कम उत्तरप्रदेश के आधे जिले में एक ही सत्ता थी, माफ़िया राज करते थे।*इसमें धन कि सबस...
सतत विकास की सार्थकता है स्वच्छता और स्वच्छ जल

सतत विकास की सार्थकता है स्वच्छता और स्वच्छ जल

राज्य, साहित्य संवाद
विश्व जल दिवस बनाम सतत विकास लक्ष्य डॉ. शंकर सुवन सिंहजल, प्रकृति द्वारा मानवता के लिए एक अनमोल उपहार है। तभी तो कहा गया है प्यासे कोपानी पिलाना सबसे बड़ी मानवता है। जल को कई नामों से पुकारा जाता है जैसे पानी,वारि, नीर, तोय, सलिल, अंबु, शम्बर आदि। जल एक रासायनिक पदार्थ है। जल का एकअणु दो हाइड्रोजन परमाणु और एक ऑक्सीजन परमाणु से बना होता है। यही ऑक्सीजनगैस प्राणवायु कहलाती है। प्राणवायु जीवन का प्रतीक है। जल का मुख्य घटक प्राणवायु हीहै। यह सारे प्राणियों के जीवन का आधार है। पानी मुख्यत: तीन रूपों में पाया जाता है ठोसद्रव और गैस । आमतौर पर जल शब्द का प्रयोग द्रव अवस्था के लिए किया जाता है। जलकी ठोस अवस्था का नाम बर्फ है। जल की गैसीय अवस्था को भाप या वाष्प के रूप में जानाजाता है। वैदिक संस्कृति में जल को आप और फ़ारसी भाषा में आब नाम से जाना जाता है।ऋग्वेद में जल देवता को 'आपो देवता' या आपः ...
आँकड़ो की जादूगरी है, दिल्ली की वायु गुणवत्ता सुधार के पीछे

आँकड़ो की जादूगरी है, दिल्ली की वायु गुणवत्ता सुधार के पीछे

EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, राज्य, विश्लेषण, सामाजिक
निश्चित रूप से आपको भी यह खबर परेशान करती होगी कि भारत दुनिया के सबसे ज्यादा प्रदूषित देशों की सूची में आठवें स्थान पर है। यह स्थिति हमें दुनिया के तमाम पिछड़े व गरीब मुल्कों के करीब खड़ा करती है। साथ ही बताती है कि गाल बजाते नीति-नियंता जमीनी हकीकत के मामले में विफल साबित हुए हैं। बीते मंगलवार को पूरी दुनिया में हवा की गुणवत्ता की जांच करने वाली स्विस एजेंसी आई.क्यू़ एअर ने वायु प्रदूषण की वैश्विक स्थिति पर रिपोर्ट जारी की। कुल 131 देशों की वायु गुणवत्ता की स्थिति के मूल्यांकन का आंकड़ा करीब तीस हजार ग्राउंड बेस मॉनिटरों के जरिये जुटाया गया। चिंताजनक स्थिति यह है कि दुनिया के सबसे ज्यादा प्रदूषित बीस शहरों में 19 एशिया के हैं। हमारे लिये बड़ी फिक्र की बात यह कि इन शहरों में 14 भारत के हैं। भारत पिछले साल दुनिया के सबसे ज्यादा प्रदूषित शहरों में पांचवें स्थान पर था। सुधार की एक वजह ...
योगी सरकार का एक निर्णय और छद्म धर्मनिरपेक्ष बैचेन-मृत्युंजय दीक्षित

योगी सरकार का एक निर्णय और छद्म धर्मनिरपेक्ष बैचेन-मृत्युंजय दीक्षित

BREAKING NEWS, धर्म, राज्य
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की सरकार के एक निर्णय से छद्म धर्मनिरपेक्ष दल बहुत बैचेन और व्यग्र हैं। चिंता में हैं कि अब उनकी तुष्टिकरण की राजनीति का क्या होगा ? प्रदेश की राजनीति में अभी तक कहा जाता रहा है कि दिवंगत सपा मुखिया मुलायम सिंह यादव चरखा दांव चलाया करते थे लेकिन इस बार असली चरखा दांव योगी आदित्यनाथ जी ने चल दिया है और मुस्लिम तुष्टिकरण तथा जातिवादी नेताओं को चित्त कर दिया है। जो लोग रामचरित मानस जैसे दिव्य व पवित्र ग्रंथ की कुछ चौपाईयों का गलत अर्थ निकालकर हिंदू समाज में जातिभेद व विवाद उत्पन्न कर अपनी राजनैतिक रोटियां सेकने का प्रयास कर रहे थे अब सकते में हैं। ये लोग यह सोच रहे थे कि प्रदेश में भगवा लहर को सनातन धर्म और सनातन संस्कृति के आस्था के केंद्रो और धर्मग्रंथों का दुष्प्रचार करके और प्रदेश की सामाजिक समरसता का वातावरण दूषित करके रोका जा सकता है।प्रदे...
काश प.पू. डाक्टर जी के जंगल सत्याग्रह के निष्कर्ष सर्वमान्य रूप से स्वातंत्र्योत्तर भारत में लागू होते-रमेश कुमार शर्मा

काश प.पू. डाक्टर जी के जंगल सत्याग्रह के निष्कर्ष सर्वमान्य रूप से स्वातंत्र्योत्तर भारत में लागू होते-रमेश कुमार शर्मा

EXCLUSIVE NEWS, राज्य, विश्लेषण, सामाजिक
आजकल देश के पर्वतीय क्षेत्रों में, उदाहरणार्थ उत्तराखंड के जोशीमठ एवं चमोली में, पर्यावरण प्रतिकूल परिस्थितियाँ बन रही हैं और पर्वतों के दरकने या धँसने से क्षतिग्रस्त मकानों से लोगों को निकालकर स्थानान्तरित किया जा रहा है। ये परिस्थितियाँ अनायास संयोगवश नहीं बनी हैं, अपितु पर्वतीय वनक्षेत्र की दीर्घकाल से अनदेखी का यह परिणाम है। भारतवर्ष वनजीवियों एवं पशुपालकों का देश है, उन्नीसवीं शताब्दी तक हमारे देश के संबंध में ऐसी वैश्विक मान्यता बनी रही। वनों की सघनता और जैव-वैविध्य (भाँति-भाँति के पशु-पक्षियों एवं वृक्षों-वनस्पतियों की उपस्थिति) के लिए भारत जाना जाता था। औषधीय जड़ी-बूटियों के संरक्षण की ललक और पर्यावरण या जीवमंडल के समग्र विकास में तादात्म्य या भाव प्रवणता मनुष्य मात्र में देखी जाती थी। प्राचीन युग में लोपामुद्रा- अगस्त्य, अरून्धती -वसिष्ठ, रेणुका -जमदाग्नि जैसे ऋषि-युगलों ने न...