
कश्मीर में हमला : आतंकियों को सोशल मीडिया के इस्तेमाल की इजाजत क्यों?
हमले के बाद जैश-ए-मोह मद ने हमलावर आदिल अहमद का वीडियो जारी करके सोशल मीडिया के माध्यम से मजहबी ध्रुवीकरण की प्रक्रिया तेज कर दी।
सोशल मीडिया के जवाबी युद्ध में भारतीय उपमहाद्वीप में राष्ट्रवाद का जोश छलकने लगा है। ज मू-कश्मीर में तीस साल के आतंकवाद के दौर में सुरक्षा बलों पर सबसे बड़े हमले के बाद इंटरनेट और सोशल मीडिया पर भी कई सवाल उठाए जा रहे हैं। खुफिया सूत्रों के अनुसार आतंकियों ने तकनीकी और इंटरनेट का इस्तेमाल करके सुरक्षा बलों के काफिले की रेकी की थी।
हमले के बाद जैश-ए-मोह मद ने हमलावर आदिल अहमद का वीडियो जारी करके सोशल मीडिया के माध्यम से मजहबी ध्रुवीकरण की प्रक्रिया तेज कर दी। वैलेनटाइन-डे के रूमानी पर्व के दिन आदिल अहमद के फिदायीन वीडियो के प्रसारण से तकनीक के विनाशकारी चेहरे का भी घिनौना एहसास होता है। सवाल यह है कि क्या इंटरनेट और सोशल मीडिया के पहले आतंकवाद की घटनाएं नही...