Shadow

विश्लेषण

मुफ्त की रेवड़ी  न तो टिकाऊ है और न ही चुनाव जीतने की गारंटी

मुफ्त की रेवड़ी न तो टिकाऊ है और न ही चुनाव जीतने की गारंटी

Current Affaires, TOP STORIES, राज्य, विश्लेषण
मुफ्त की रेवड़ी  न तो टिकाऊ है और न ही चुनाव जीतने की गारंटी यदि मतदाता बुद्धिमान और शिक्षित हैं, तो वे इस तरह की चालों के झांसे में नहीं आएंगे। मुफ्त उपहार स्वीकार करने के बाद भी, वे सरकार के प्रदर्शन या उसकी कमी के अनुसार मतदान करना चुन सकते हैं। यदि वे मुफ्त उपहारों और वादों को अस्वीकार करते हैं, तो राजनीतिक दल अधिक रचनात्मक कार्यक्रमों के लिए आगे बढ़ेंगे। अस्वीकृति की शुरुआत पंचायत राज और राज्य विधानसभा चुनावों से होनी चाहिए। मतदाताओं के केवल एक निश्चित वर्ग के लिए किसी विशेष क्षेत्र में सब्सिडी चुनाव में जीत का आश्वासन नहीं दे सकती है। -सत्यवान 'सौरभ' श्रीलंकाई अर्थव्यवस्था के पतन की हालिया खबरों ने राज्य की भूमिका पर एक नई बहस को जन्म दिया है। श्रीलंका की सरकार ने बोर्ड भर में करों में कटौती की और कई मुफ्त सामान और सेवाएं प्रदान कीं। नतीजतन, अर्थव्यवस्था ध्वस्त हो गई और सरकार गिर...
विकास का नया मार्ग बुंदेलखंड एक्सप्रसे -वे

विकास का नया मार्ग बुंदेलखंड एक्सप्रसे -वे

addtop, BREAKING NEWS, EXCLUSIVE NEWS, विश्लेषण, सामाजिक
विकास का नया मार्ग बुंदेलखंड एक्सप्रसे -वे अब समाप्त होगी मुफ्त रेवड़ी की राजनीति मृत्युंजय दीक्षित प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपनी बुंदेलखंड यात्रा के दौरान जालौन के कैथेरी गांव में बने मंच से 14,800 करोड़ से निर्मित 296 किमी लम्बे 4 लेन(6 लेन विस्तारीकरण) बुंदेलखण्ड एक्सप्रेस वे राष्ट्र को समर्पित करते हुए भविष्य के विकास व राजनीति के नये आयामों का संदेश दिया । प्रधानमंत्री ने बुंदेली में जनसभा को संबोधित करना शुरू किया और हर बार की तरह इस बार भी प्रतीकों व महापुरूषों को नमन किया। प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में कई बडे़ संदेश दिए जिनसे यह साफ हो गया है कि भारतीय जनता पार्टी मिशन -2024 के कितनी सतर्क व सजग होकर अपनी तैयारी कर रही है। भाजपा आलाकमान स्वयं पूरी तरह सक्रिय है तथा अपने कार्यकर्ता को भी पूरी तरह से सक्रिय रख रहा है ताकि चुनावों के दौरान किसी प्रकार की कोई कमी न रह जाये। प्र...
समस्या बढ़ाता राष्ट्रवादी सोच का अभाव

समस्या बढ़ाता राष्ट्रवादी सोच का अभाव

TOP STORIES, विश्लेषण, समाचार, सामाजिक
समस्या बढ़ाता राष्ट्रवादी सोच का अभाव" आर. विक्रम सिंह (लेखक पूर्व सैनिक अधिकारी एवं पूर्व प्रशासक हैं)  साभार::दैनिक जागरण 7.7.22 हमारे देश के कुछ समूहों, वर्गों और राजनीतिक एवं गैर राजनीतिक संगठनों में राष्ट्रवाद का अभाव ही हमारी कई समस्याओं की जड़ है। देशवासियों में प्रबल राष्ट्रवाद की भावना जगाकर अब तक हम वह सब कुछ हासिल कर सकते थे, जिनका सपना हमारे स्वतंत्रता सेनानियों ने देखा था। यदि आपके पास धन है तो कोई जरूरी नहीं कि प्रबल राष्ट्रदृष्टि भी हो। हमारे क्रांतिकारियों को धन चाहिए था। मजबूरी में उन्हें अंग्रेजों का खजाना लूटना पड़ा। कोई बिड़ला, कोई डालमिया या कोई भी अनाम भामाशाह उन्हें धन दे रहा होता तो क्रांतिकारी आंदोलन नए स्तरों पर जाता, पर देश का जनमानस गांधी को महात्मा मान कर उधर चला गया। जज्बा हो, विचार हो, पर धन न हो तो कुछ न हो पाएगा। यह बड़ा संकट है। हम इससे अवगत हैं कि ...
जिहादी सोच का दमन करना जरूरी

जिहादी सोच का दमन करना जरूरी

addtop, BREAKING NEWS, EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, राज्य, विश्लेषण, समाचार
जिहादी सोच का दमन करना जरूरी  लेखक::अवधेश कुमार (वरिष्ठ पत्रकार एवं राजनीतिक विश्लेषक) उदयपुर में कन्हैयालाल की गला काटकर की गई हत्या की भयानक घटना से देश उद्वेलित है। यदि कन्हैयालाल को नुपुर शर्मा के पक्ष में एक कथित पोस्ट के कारण जान गंवानी पड़ी तो उस कट्टर मानसिकता की वजह से, जिससे उसके हत्यारे रियाज अख्तरी और गौस मोहम्मद भरे हुए थे। इस कट्टर सोच के गिरफ्त में न जाने कितने अन्य रियाज और गौस मजहब के नाम पर अनेक कन्हैयालालों का कत्ल करने को तैयार बैठे हैं।  कन्हैयालाल की हत्या कुछ वैसे ही की गई, जैसे फ्रांस में अक्टूबर, 2020 में शिक्षक सैमुअल पैटी की एक चेचेन जिहादी आतंकी ने की थी। उस हत्यारे को बताया गया था कि पैटी ने अपनी कक्षा में अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता पर लेक्चर देते हुए छात्रों को शार्ली आब्दो में छपे वे कार्टन दिखाए थे l जो पैगंबर मोहम्मद साहब को लेकर बनाए गए थे। इसके बाद...
राजनेता मोदी जी के पद चिह्नों पर चलें*

राजनेता मोदी जी के पद चिह्नों पर चलें*

EXCLUSIVE NEWS, राज्य, विश्लेषण, सामाजिक
राजनेता मोदी जी के पद चिह्नों पर चलें* यह सर्वविदित है कि जब मोदी जी ने गुजरात के मुख्यमंत्री के पद को त्यागकर प्रधानमंत्री के पद को गृहण किया तो उन्होंने अपने बैंक में संचित सम्पूर्ण धनराशि अपने सेवकों में वितरित कर दी और अपनी संचित निधि को शून्य कर दिया था। यदि वे चाहते तो उस संचित धनराशि को अपनी जन्मदात्री माता जी एवं अपने परिवार के सदस्यों को वितरित कर सकते थे। इतना ही नहीं अपितु उन्होंने समय-समय पर देश-विदेश के भ्रमण के पश्चात प्राप्त हुए कीमती उपहारों को तथा अपने बहुमूल्य वस्त्रों की भी निलामी कराकर उससे प्राप्त धनराशि को गरीबों के हितार्थ सरकारी कोषों में दान कर दिया। उन्होंने कभी भी निजी सेवाओं के लिए गुजरात सरकार से पेंशन अथवा अन्य कोई सरकारी सुविधा की मांग नहीं की। यह एक आदर्श नेता की पहचान है। आज भारतीय संसद में अधिकांश सांसद भाजपा के हैं, सम्भव है कि इस वर्ष राज्यसभा में भी...
कोरोना की संक्रमण क्षमता कम करने के लिए वैज्ञानिकों ने खोजा नया तंत्र

कोरोना की संक्रमण क्षमता कम करने के लिए वैज्ञानिकों ने खोजा नया तंत्र

addtop, BREAKING NEWS, TOP STORIES, राष्ट्रीय, विश्लेषण, सामाजिक
कोरोना की संक्रमण क्षमता कम करने के लिए वैज्ञानिकों ने खोजा नया तंत्र नई दिल्ली, 15 जुलाई (इंडिया साइंस वायर): भारतीय शोधकर्ताओं ने सिंथेटिक पेप्टाइड्स के एक नये वर्ग की संरचना का खुलासा किया है। है। यह पेप्टाइड संरचना, कोविड-19 के लिए जिम्मेदार कोरोना वायरस (SARS-CoV-2) के कोशिकाओं में प्रवेश को बाधित करने के साथ-साथ वायरॉन्स (Virions) को जोड़ सकती है, जिससे उनकी संक्रमित करने की क्षमता कम हो सकती है। वायरॉन संपूर्ण वायरस कण को कहते हैं, जिसमें आरएनए या डीएनए कोर होता है। वायरॉन के बाहरी आवरण के साथ प्रोटीन की परत होती है, जो वायरस का बाह्य संक्रामक रूप होता है। कोरोना वायरस के नये रूपों के तेजी से उभरने से कोविड-19 टीकों द्वारा दी जाने वाली सुरक्षा कम हो जाती है, जिससे वायरस संक्रमण रोकने के नये तरीके खोजना आवश्यक हो जाता है। शोधकर्ताओं का कहना है कि इस अध्ययन से उभरा नया दृष्टिको...
ज़मानत क़ानून में सुधार की ज़रूरत

ज़मानत क़ानून में सुधार की ज़रूरत

BREAKING NEWS, Current Affaires, EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, राष्ट्रीय, विश्लेषण
ज़मानत क़ानून में सुधार की ज़रूरत *रजनीश कपूर गर्मियों की छुट्टियों के बाद जहां एक दिन में 44 फ़ैसले सुना कर सुप्रीम कोर्ट ने अपने इतिहास में एक नया रिकोर्ड बनाया वहीं ज़मानत के क़ानून में सुधार को लेकर केंद्र सरकार को एक नया क़ानून बनाने पर विचार करने को भी कहा। न्यायमूर्ति संजय किशन कौल व न्यायमूर्ति एमएम सुंद्रेश की बेंच वाली कोर्ट ने सुनवाई के दौरान कहा कि “भारत को कभी भी एक पुलिस स्टेट नहीं बनना चाहिए, जहां जांच एजेंसियां औपनिवेशिक युग की तरह काम करें।” इसके साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने जमानत याचिकाओं के निपटारे के लिए समय-सीमा की जरूरत को भी दोहराया है। कोर्ट ने इस बात पर भी चिंता जताई कि महिला क़ैदियों के साथ लगभग एक हज़ार बच्चों को भी जेलों में रहना पड़ रहा है। ये बच्चे बड़े हो कर अपराधी बनेंगे इस बात के अंदेशे से इन्कार नहीं किया जा सकता। क़ानून में यह बात स्पष्ट रूप से लिखी...
चारित्रिक अवमूल्यन जॉनसन को ले डूबा

चारित्रिक अवमूल्यन जॉनसन को ले डूबा

Current Affaires, EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, विश्लेषण, सामाजिक
चारित्रिक अवमूल्यन जॉनसन को ले डूबा-ललित गर्ग-ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन की विदाई का कारण स्वच्छन्द, भ्रष्ट एवं अनैतिक राजनीति बना। समूची दुनिया के शासनकर्त्ताओं को एक सन्देश है बोरिस की इस बेकद्री से बेआबरु होकर विदा होना। किस तरह कांड-दर-कांड का सिलसिला चला और जॉनसन ने 2019 के चुनावों में जो राजनीतिक प्रतिष्ठा अर्जित की थी, वह धीरे-धीरे  राजनीतिक अहंकार एवं अनैतिक कृत्यों के कारण गायब होती गई। उन्हें जो व्यापक जनादेश मिला था, उसका फायदा वह नहीं उठा पाए, क्योंकि जो अनुशासन, चरित्र की प्रतिष्ठा, संयम एवं मूल्यों का सृजन उनके प्रशासन में होना चाहिए था, वह कमोबेश नदारद रहा। जिस तेजतर्रार तेवर के साथ जॉनसन ने ब्रेग्जिट अभियान को अपने हाथों में लिया था और उसके बाद 2019 के आम चुनाव में जीत हासिल की थी, उस तेवर को वह बरकरार नहीं रख पाए। इसी वजह से विगत कुछ महीनों से उनकी कंजर्वेटिव पार्...
आईटी पेशेवरों के नौकरी छोड़ते रहने की वजह समझिए

आईटी पेशेवरों के नौकरी छोड़ते रहने की वजह समझिए

TOP STORIES, राष्ट्रीय, विश्लेषण
आईटी पेशेवरों के नौकरी छोड़ते रहने की वजह समझिए आर.के. सिन्हा अब देश की सभी प्रमुख आईटी कंपनियां अपने मार्च-जून तिमाही के नतीजों का ऐलान करना चालू कर देंगी। यह भी तय है कि करीब-करीब सभी के मुनाफे और कुल जमा कारोबार में निश्चित वृद्धि होगी। कोरोना काल के बाद सभी भारतीय आईटी कंपनियां अब अपनी  पूरी क्षमताओं के साथ काम कर रही हैं। उन्हें देश-विदेश से नए-नए आर्डर भी मिल रहे हैं। ये सभी भारतीय आई.टी. कम्पनियां कोरोना काल में आई सुस्ती की भरपाई करने में लगी हुई हैं। कोरोना के दौर में सभी क्षेत्रों में काम की रफ्तार प्रभावित हुई थी। पर अब कोरोना के भय को कारोबारी दुनिया पीछे छोड़ते हुए तेजी से आगे बढ़ रही है। अब ठोस संकेत मिल रहे हैं कि भारत की चार सबसे प्रमुख आई टी सेक्टर की कंपनियां क्रमश: टाटा कंसलटेंसी सर्विसेज (टीसीएस), इंफोसिस, विप्रो और एचसीएल  टेक्नोलॉजी जब अ...
अवसादों भरा हफ़्ता

अवसादों भरा हफ़्ता

addtop, Current Affaires, EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, राज्य, विश्लेषण, सामाजिक
अवसादों भरा हफ़्ता विनीत नारायण पिछला हफ़्ता अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अवसादों से भरा रहा। जो घटनाएँ घटीं उनका प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष असर भारत पर भी पड़ेगा। इस क्रम में सबसे ज़्यादा दुखद घटना जापान के पूर्व प्रधान मंत्री शिंजो आबे की नृशंस हत्या है। वे न केवल जापान के सशक्त और लोकप्रिय नेता थे बल्कि विश्व राजनीति में भी उनका सर्वमान्य प्रभावशाली व्यक्तित्व था। इस तरह की हिंसा जापान की संस्कृति में अनहोनी घटना है। कुछ लोगों को अंदेशा है कि इसके पीछे चीन का हाथ हो सकता है। जिसने हत्यारे को मनोवैज्ञानिक रूप से इस हाराकिरी के लिए उकसाया होगा। ऐसे षड्यंत्रों का प्रमाण आसानी से जग-ज़ाहिर नहीं होता, इसलिए दावे से कुछ भी नहीं कहा जा सकता। पर ऐसा अंदेशा लगाने वालों का तार्किक आधार यह है कि ‘साउथ एशिया सी’ में चीन की बढ़ती दादागिरी को रोकने की जो पहल शिंजो आबे ने की उससे चीन जाहिरन बहुत विचलित...