Shadow

BREAKING NEWS

आखिर प्रवासी श्रमिकों की दुर्दशा का कारण क्या है?

आखिर प्रवासी श्रमिकों की दुर्दशा का कारण क्या है?

BREAKING NEWS, EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, राष्ट्रीय
आखिर प्रवासी श्रमिकों की दुर्दशा का कारण क्या है? आंकड़ों के अनुसार, जो लोग आजीविका की तलाश में स्थानीय और क्षेत्रीय सीमाओं के पार जाते हैं, उन्हें अपने मेजबान समाज में स्थायी रूप से बाहरी समझे जाने का अपमान सहना पड़ता है। श्रमिकों को अक्सर टेलीविजन स्क्रीन पर दुखद घटनाओं के पात्र के रूप में दिखाया जाता है, जिससे उनके योगदान और उन्हें प्राप्त मान्यता के बीच का अंतर उजागर होता है। राष्ट्र के बुनियादी ढांचे के पीछे की ताकत होने के बावजूद, राष्ट्रीय महानता के विमर्श में उनकी भूमिका को शायद ही कभी स्वीकार किया जाता है। पॉलिसी शून्य होने के कारण अक्सर असुरक्षित छोड़ दिया जाता है यद्यपि प्रवासी कार्यबल राष्ट्रीय गौरव के प्रत्यक्ष चिह्नों में महत्वपूर्ण योगदान देता है, फिर भी उनके अधिकारों को नियंत्रित करने वाली नीतियों का घोर अभाव है। --डॉ सत्यवान सौरभ भारत के असंगठित कार्यबल का एक महत...
महिला सशक्तिकरण की दौड़ जीतती भारतीय रेलवे

महिला सशक्तिकरण की दौड़ जीतती भारतीय रेलवे

BREAKING NEWS, TOP STORIES, आर्थिक, समाचार
महिला सशक्तिकरण की दौड़ जीतती भारतीय रेलवे(पुरुषों के गढ़ तोड़ने वाली "प्रथम महिलाओं" को पहचानने की आवश्यकता) कैबिनेट द्वारा स्वीकृत नियुक्तियों के नवीनतम दौर के साथ पहली बार रेलवे बोर्ड में महिलाएँ ड्राइवर की सीट पर हैं। कांच की छत को तोड़ते हुए, रेलवे बोर्ड का नेतृत्व पहले से ही एक महिला द्वारा किया जा रहा है, अब संचालन और व्यवसाय विकास के प्रभारी एक महिला सदस्य हैं और उसी रैंक की एक अन्य महिला सदस्य वित्त सदस्य के रूप में वित्त की देखभाल करती हैं। महिला सशक्तिकरण को प्रेरित करने के एक अन्य तरीके में, भारतीय रेलवे ने एक पूरी ट्रेन और रेलवे स्टेशन महिलाओं को समर्पित करना शुरू किया। मणिनगर रेलवे स्टेशन (गुजरात) और माटुंगा रोड स्टेशन (मुंबई, महाराष्ट्र) का प्रबंधन महिला कर्मचारियों द्वारा किया जाता है। महाराष्ट्र के नागपुर में स्थित अजनी रेलवे स्टेशन की सफाई, ट्रैक की खराबी का पता लगाने...
मुद्रा का उतार चढ़ाव

मुद्रा का उतार चढ़ाव

BREAKING NEWS, EXCLUSIVE NEWS, आर्थिक, राष्ट्रीय
राकेश दुबे *मुद्रा का उतार चढ़ाव* कभी देश में वो समय था जब सरकार पेट्रोलियम उत्पादों की कीमतों पर नियंत्रण रखती थी और उन कीमतों में नियमित रूप से बदलाव नहीं होता था। दुनिया भर में पेट्रोल की कीमतें बढ़ती थीं, लेकिन भारत में नहीं बढ़ती थीं। इससे अंतर बढ़ता, आर्थिक विसंगति बढ़ जाती और दबाव भी उत्पन्न हो जाता। उसके बाद एकाएक झटके से कीमत बहुत बढ़ जाती। कीमतों में इतना बड़ा इजाफा अर्थव्यवस्था के लिए सदमे की तरह होता। नीति बनाने वालों ने इन अनुभवों से सबक लिया कि कीमतों में बार-बार छोटा-छोटा बदलाव करना ज्यादा अच्छा होता है। वैश्विक बाजार में चल रही कीमतों के हिसाब से ही देश में भी कुछ दिन पेट्रोल के दाम बढ़ जाने चाहिए और कुछ दिन उनमें कमी आनी चाहिए। पेट्रोल की कीमत स्थिर नहीं होनी चाहिए। लगभग यही बात विनिमय दर पर भी लागू होती है। विनिमय दर को कुछ समय तक थामे रखना संभव है, परंतु मुक्त ...
बच्चों की ऑनलाइन गतिविधियों में भागीदारी

बच्चों की ऑनलाइन गतिविधियों में भागीदारी

BREAKING NEWS, TOP STORIES, जीवन शैली / फिल्में / टीवी, राज्य, सामाजिक
राकेश दुबे *बच्चों की ऑनलाइन गतिविधियों में भागीदारी* इसमें कोई शक नहीं है कि डिजिटल दौर ने बच्चों के जीवन को गहरे तक प्रभावित किया है। आज सोशल मीडिया भी युवाओं के संवाद का अभिन्न माध्यम बन गया है। साथ ही यह भी समझिए कि इसके साथ तमाम तरह के जोखिम भी जुड़े हैं, जिनसे किशोरों को बचाने की सख्त जरूरत है। अब हमारे देश भारत में वर्ष 2023 में लाए गए डिजिटल पर्सनल डेटा प्रोटेक्शन एक्ट के नियमों के तहत नाबालिगों के लिये सोशल मीडिया अकाउंट खोलने के लिये माता-पिता या अभिभावकों की सहमति अनिवार्य है। निश्चिय ही यह बच्चों की सुरक्षा से जुड़ा एक सराहनीय कदम है। दुनिया के विभिन्न देशों में ऐसे कानून पहले से ही मौजूद हैं। यूरोपीय संघ के जनरल डेटा प्रोटेक्शन रेगुलेशन के लिये सोलह साल से कम उम्र के उपयोगकर्ताओं के लिये माता-पिता की सहमति अनिवार्य है। वहीं यूएस चिल्ड्रन ऑनलाइन प्राइवेसी प्रोटेक्शन ए...
भारत की घटती प्रजनन दर एक चुनौती या अवसर

भारत की घटती प्रजनन दर एक चुनौती या अवसर

BREAKING NEWS, TOP STORIES, जीवन शैली / फिल्में / टीवी, राष्ट्रीय, सामाजिक
भारत की घटती प्रजनन दर एक चुनौती या अवसर भारत की घटती प्रजनन दर एक चुनौती और अवसर दोनों का प्रतिनिधित्व करती है। हालांकि प्रतिस्थापन दर से कम प्रजनन दर से जनसंख्या वृद्ध होने और आर्थिक स्थिरता का जोखिम पैदा होता है, लेकिन यह रणनीतिक नीतिगत हस्तक्षेपों के माध्यम से सतत विकास के लिए अवसर भी प्रस्तुत करता है। एक न्यायसंगत और टिकाऊ भविष्य बनाने पर ध्यान होना चाहिए, जिससे जनसांख्यिकीय बदलावों का भारत के लाभ के लिए लाभ उठाया जा सके। निरंतर कम प्रजनन दर के कारण वृद्ध आबादी हो सकती है, जहाँ कामकाजी आयु वर्ग की आबादी के सापेक्ष वृद्ध वयस्कों का अनुपात बढ़ जाता है। यह जनसांख्यिकीय बदलाव सामाजिक सुरक्षा प्रणालियों, स्वास्थ्य सेवा संसाधनों और आर्थिक उत्पादकता पर दबाव डाल सकता है। भारत की घटती प्रजनन दर देश के सामाजिक-आर्थिक परिदृश्य को नया आकार देगी। जैसे-जैसे बुजुर्गों की आबादी बढ़ेगी, वृद्धावस्थ...
ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस को मात दे पायेगा भारत ?

ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस को मात दे पायेगा भारत ?

BREAKING NEWS, EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, समाचार, सामाजिक
ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस को मात दे पायेगा भारत ? भारत को राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन पहलों के माध्यम से निगरानी, निदान और त्वरित प्रतिक्रिया तंत्र को मजबूत करके मानव मेटान्यूमोवायरस जैसे उभरते वायरल खतरों से निपटने के लिए अपने नियामक ढांचे को बढ़ाना चाहिए। वैश्विक सर्वोत्तम प्रथाओं के साथ-साथ वैक्सीन और एंटीवायरल अनुसंधान में निवेश से ऐसे प्रकोपों को कम करने में मदद मिलेगी। कमजोर आबादी की सुरक्षा और एचएमपीवी प्रसार को नियंत्रित करने के लिए स्वास्थ्य देखभाल बुनियादी ढांचे को मजबूत करना आवश्यक है। -- डॉo सत्यवान सौरभ, मानव मेटान्यूमोवायरस एक वैश्विक स्वास्थ्य चिंता के रूप में उभरा है, विशेष रूप से बच्चों, बुजुर्गों और प्रतिरक्षाविहीन व्यक्तियों जैसे कमजोर आबादी के लिए। पहली बार 2001 में पहचाना गया, मानव मेटान्यूमोवायरस दुनिया भर में महत्वपूर्ण श्वसन संक्रमण का कारण बनता है, जिससे अस्पता...
आप-दा नहीं सहेंगे, बदल कर रहेंगे’, दिल्ली में परिवर्तन रैली में AAP पर बरसे पीएम मोदी

आप-दा नहीं सहेंगे, बदल कर रहेंगे’, दिल्ली में परिवर्तन रैली में AAP पर बरसे पीएम मोदी

BREAKING NEWS, EXCLUSIVE NEWS, Today News, राज्य
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने न्यू अशोक नगर में 13 किमी. लंबे नमो भारत ट्रेन के साहिबाबाद-न्यू अशोक नगर सेक्शन का उद्घाटन किया। उन्होंने साहिबाबाद से न्यू अशोक नगर तक नमो भारत ट्रेन में यात्रा भी की। इसके बाद पीएम ने दिल्ली के जापानी पार्क में रैली को संबोधित किया।
देश में बड़े स्तर पर लोग भूखे हैं

देश में बड़े स्तर पर लोग भूखे हैं

BREAKING NEWS, TOP STORIES, घोटाला, राष्ट्रीय, सामाजिक
मेरे सामने खाद्य सुरक्षा एवं पोषण की स्थिति (सोफी) की 2023 की रिपोर्ट है और यह रिपोर्ट कहती है कि भारत में 2020 और 2022 के दरम्यान 7.4 करोड़ लोग अल्पपोषण के शिकार थे। 2023 में ग्लोबल हंगर इंडेक्स में 125 देशों के बीच भारत को 111वां स्थान दिया गया। यह सूचकांक बताता है कि किस देश के बच्चों में बौनेपन, दुर्बलता की समस्या और पोषण की कमी बहुत अधिक है। इससे यह भी पता चलता है कि उस देश की आबादी को रोजाना पर्याप्त भोजन मयस्सर नहीं हो रहा है। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर उपलब्ध आंकड़े तो बता रहे हैं कि बड़े स्तर पर लोग भूखे रहते हैं मगर यह आंकड़ा आसानी से नहीं मिलता कि रोज रात कितने लोगों को भूख पेट सोना पड़ता है। हाल ही में घरेलू खपत व्यय सर्वेक्षण (एचसीईएस) 2022-23 के आंकड़े जारी किए गए, जिसमें सर्वेक्षण से तीस दिन पहले तक खाए गए आहार की संख्या बताई गई है। तय परिभाषा के मुताबिक ‘आहार’ पकाई गई एक...
आखिर क्यों नहीं थम रहा रुपये में गिरावट का सिलसिला

आखिर क्यों नहीं थम रहा रुपये में गिरावट का सिलसिला

BREAKING NEWS, TOP STORIES, आर्थिक, विश्लेषण
आखिर क्यों नहीं थम रहा रुपये में गिरावट का सिलसिला निर्यात की तुलना में आयात में वृद्धि के कारण व्यापार घाटा बढ़ने से विदेशी मुद्रा का बहिर्वाह बढ़ता है, जिससे रुपया कमजोर होता है। कच्चे तेल और सोने के बढ़ते आयात के कारण 2022 में भारत का रिकॉर्ड व्यापार घाटा रुपये के मूल्यह्रास को बढ़ाता है। भारतीय रुपये में गिरावट बाहरी क्षेत्र की कमज़ोरियों के बीच मुद्रा स्थिरता बनाए रखने की चुनौतियों को रेखांकित करती है। मुद्रा मूल्य में उतार-चढ़ाव वैश्विक भू-राजनीतिक तनावों जैसे रूस-यूक्रेन युद्ध, कच्चे तेल की बढ़ती कीमतें और पूंजी बहिर्वाह के साथ-साथ राजकोषीय घाटे जैसे घरेलू कारकों से उत्पन्न होते हैं। भारत के बाहरी लचीलेपन को बढ़ाने और इसकी अर्थव्यवस्था को स्थिर करने के लिए प्रभावी नीतिगत उपाय महत्त्वपूर्ण हैं। -डॉ सत्यवान सौरभ सितंबर 2024 के शेयर शिखर के बाद निरंतर बहिर्वाह ने रुपये को कमज...
संभल -हरिहर मंदिर के सत्य को दबाने के लिए असत्य की राजनीति का सहारा

संभल -हरिहर मंदिर के सत्य को दबाने के लिए असत्य की राजनीति का सहारा

BREAKING NEWS, TOP STORIES, राज्य, विश्लेषण, सामाजिक
संभल -हरिहर मंदिर के सत्य को दबाने के लिए असत्य की राजनीति का सहारामुस्लिम तुष्टिकरण का नया पर्यटन केंद्र बना संभलमृत्युंजय दीक्षितउत्तर प्रदेश का संभल जिला आजकल चर्चा में है। यहाँ की शाही जामा मस्जिद के पूर्व में प्रसिद्ध हरिहर मंदिर होने के प्रमाण हैं जिसके कारण यह पुरातात्विक महत्व का स्थल है। हिंदू पक्षकार ने इस स्थल को भगवान श्री हरिहर का मंदिर मानते हुए प्रमाणों के साथ स्थानीय अदालत में इसके सर्वेक्षण की याचिका याचिका लगाई थी जिसे स्वीकार करते हुए स्थानीय न्यायलय ने सर्वे कराने का आदेश जारी किया था। प्रथम चरण का सर्वे हो जाने के बाद कोर्ट कमिश्नर ने न्यायालय से दोबारा सर्वे कराने की अनुमति मांगी थी और वह सहमति भी न्यायलय ने दी किंतु सर्वे टीम के वहां पहुँचने पर अराजक तत्वों की उग्र भीड़ ने उस पर हमला कर दिया। इस हमले के साथ बाद भड़की हिंसा में 5 लोगों की मौत हो गई तथा कई लोग घायल हुए।...