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भारत में विवाह समारोहों की अर्थव्यवस्था

भारत में विवाह समारोहों की अर्थव्यवस्था

EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, आर्थिक, विश्लेषण
भारतीय सनातन संस्कृति के अनुसार पवित्र शादियों के धार्मिक संस्कारों के माध्यम से दो आत्माओं का मिलन कराया जाता है। कहा तो यहां तक भी जाता है कि दूल्हा और दुल्हन शादी के धार्मिक संस्कारों के माध्यम से सात जन्मों तक के लिए एक दूसरे के हो जाते हैं। इसलिए, शादी के समय विभिन्न अध्यात्मिक, धार्मिक एवं सांसारिक संस्कारों को सम्पन्न कराने के लिए समाज के गणमान्य नागरिकों, नाते रिश्तेदारों, परिवार के सदस्यों को साथ लेकर विभिन्न प्रकार के भव्य आयोजन सम्पन्न किए जाते हैं। इन आयोजनों में विभिन्न कार्यक्रम सम्पन्न होते हैं एवं आजकल तो ऐसे शुभ अवसरों पर भारी मात्रा में व्यय भी किया जा रहा है। शादी के विभिन्न आयोजनों पर किए जाने वाले भारी भरकम खर्च से देश की अर्थव्यवस्था को बल मिलता हुआ दिखाई दे रहा है। भारत में नवम्बर 2023 माह से लेकर आगामी लगभग 4 माह के दौरान 38 लाख से अधिक शादियों के आयोजन सम्प...
6 दिसंबर की रात – “चंद्रकांत जोशी”

6 दिसंबर की रात – “चंद्रकांत जोशी”

BREAKING NEWS, TOP STORIES, राज्य, सामाजिक
ढाँचे के आसपास तूफान के पहले और तूफान के बाद की खामोशी का मंजर था। कार सेवक, पत्रकार, नेता और तमाशाई जा चुके थे। मगर कुछ शक्तियाँ ऐसी थी जो अपने काम में चुपचाप लगी थी और इन शक्तियों के पीछे मैं भी चुपचाप एक गँवार देहाती की तरह लगा हुआ था। अगर किसी को तनिक भी भान हो जाता कि मैं पत्रकार हूँ और यहाँ मौजूद हूँ तो फिर मेरे लिए जान बचाना मुश्किल हो जाता, क्योंकि ढाँचा टूटने के बाद सबसे रहस्यमयी, रोमांचक और एक नया इतिहास लिखने वाला घटनाक्रम यहाँ होने वाला था।जिस जगह पर मैं 6 दिसंबर, 1992 की शाम को घुप्प अंधेरे और कड़कड़ाती ठंड में कुछ टिमटिमाते दीयों, लालटेन और टॉर्च की रहस्यमयी रोशनी में कुछ हिलती-डुलती मानवीय आकृतियों के बीच किसी भुतहा हिंदी फिल्म के दृश्यों को डरते-सहमते देख रहा था। रामसे ब्रदर्स की भुतहा फिल्मों से लेकर हॉलीवुड की खतरनाक भुतहा फिल्मों को तीन घंटे देखना रोमांच का काम हो स...
चुनाव कांग्रेस और घमंडिया गठबंधन के लिए बहुत बड़ा सबक हैं।

चुनाव कांग्रेस और घमंडिया गठबंधन के लिए बहुत बड़ा सबक हैं।

BREAKING NEWS, Today News, TOP STORIES, राष्ट्रीय, सामाजिक
Election Result 2023: मध्य प्रदेश, राजस्थान समेत तीन राज्यों में बीजेपी की शानदार जीत के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कांग्रेस और इंडिया गठबंधन के दलों पर निशाना साधा। पीएम मोदी ने बीजेपी मुख्यालय में कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा कि ये चुनाव कांग्रेस और घमंडिया गठबंधन के लिए बहुत बड़ा सबक हैं। कांग्रेस समेत विपक्षी दलों पर हमला बोलते हुए पीएम मोदी ने कहा कि ऐसी पार्टियों को आज चेतावनी दी गई है कि सुधर जाइए, वरना जनता आज आपको चुन-चुनकर साफ कर देगी। प्रधानमंत्री ने कहा कि यह चुनाव नतीजे कांग्रेस और उसके घमंडिया गठबंधन के लिए भी बहुत बड़ा सबक है। सबक यह है कि सिर्फ कुछ परिवारवादियों के मंच पर एक साथ आ जाने से फोटो कितनी अच्छी निकल जाए, देश का भरोसा नहीं जीता जाता। देश की जनता का दिल जीतने के लिए राष्ट्र सेवा का जज्बा होना चाहिए और घमंडिया गठबंधन में रत्तीभर भी वह नजर नहीं आता ...
ग्लोबल वर्मिंग : विकसित देशों का रवैया ठीक नहीं

ग्लोबल वर्मिंग : विकसित देशों का रवैया ठीक नहीं

EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, विश्लेषण
विश्व के तमाम देश लगातार ग्लोबल वार्मिंग से मानवता पर मंडराते संकट को दूर करने के लिये संयुक्त अरब अमीरात में एकजुट हुए । दुबई में आयोजित संयुक्त राष्ट्र फ्रेमवर्क कन्वेंशन के 28वें सम्मेलन से फिर पूरी दुनिया की आस जगी है। दुनिया टकटकी लगाए बैठी है कि कॉप-28 सम्मेलन से धरती को बचाने के लिये कुछ ठोस निर्णय लिए जाएंगे। बीत रहे साल में मौसम के चरम के चलते तापमान वृद्धि, अलनीनो प्रभाव से बढ़ता समुद्री तापमान, अंटार्कटिका में तेजी से बर्फ के पिघलने, बाढ़, अतिवृष्टि, अनावृष्टि और चक्रवातों के जो भयावह परिणाम सामने आए, वो बता रहे हैं कि यदि अब निर्णायक फैसले न हुए तो धरती को बचाना मुश्किल हो जाएगा। अब तक के तमाम पर्यावरण सम्मेलनों में वायदे तो बड़े-बड़े हुए हैं लेकिन ठोस काम इस दिशा में नहीं हो पाया है। खासकर विकसित देशों के अड़ियल रवैये से इस दिशा में आशाजनक प्रगति नहीं हो पायी है। जबकि ...
<strong>बौखलाहट है हिंदी पट्टी के राज्यों को ‘गौमूत्र राज्य’ की संज्ञा देना</strong>

बौखलाहट है हिंदी पट्टी के राज्यों को ‘गौमूत्र राज्य’ की संज्ञा देना

EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, राष्ट्रीय, साहित्य संवाद
-ललित गर्ग- तीन राज्यों राजस्थान, मध्यप्रदेश एवं छत्तीसगढ़ में भारतीय जनता पार्टी की ऐतिहासिक एवं शानदार जीत से इंडिया गठबंधन के विभिन्न राजनीतिक दलों एवं उनके नेताओं की बौखलाहट बढ़ती जा रही है। इसी बौखलाहट का नतीजा है तमिलनाडु की सत्ताधारी दल डीएमके पार्टी के सांसद डीएनवी सेंथिलकुमार के द्वारा संसद में हिंदी पट्टी के राज्यों को ‘गौमूत्र राज्य’ की संज्ञा देना। उनके ऐसा बोलते ही संसद से लेकर बाहर के राजनीतिक गलियारों में हंगामा खड़ा हो गया। भाजपा ने सेंथिलकुमार के इस बयान का विरोध किया तो सांसद ने माफी मांग ली और लोकसभा की कार्यवाही से उनका बयान अब हटा दिया गया है। साथ ही कांग्रेस ने भी उनके इस बयान से पल्ला झाड़ लिया है। राजनीतिक स्वार्थों एवं संकीर्णताओं के चलते भारत की हजारों साल पुरानी संस्कृति एवं परम्परा को धुंधलाने एवं झुठलाने के ये षड़यंत्र राष्ट्रीय एकता एवं अखण्डता की बड़ी बाध...
राम हमारे : हरि अनंत हरि कथा अनंता..!

राम हमारे : हरि अनंत हरि कथा अनंता..!

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~कृष्णमुरारी त्रिपाठी अटल हमारी सनातनी परम्परा - संस्कृति श्रेष्ठ जीवन मूल्यों की जननी है। मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्री राम ने अपने सम्पूर्ण जीवन चरित्र से राष्ट्र को उसके आदर्श सौंपे हैं। बाल्यकाल से लेकर जीवन के सम्पूर्ण क्रम में प्रभु श्री राम का चरित मनुष्यत्व से देवत्व की साधना का मार्ग प्रशस्त करता है। और उनका मार्ग एकदम सुगम - सहज- सरल तथा मानवीय मूल्यों की प्रतिष्ठा का अमृत कुम्भ है। इसी अमृत कुम्भ में ही सम्पूर्ण सृष्टि के कुशल सञ्चालन- शान्ति- समन्वय- साहचर्य की गर्भनाल गड़ी हुई है। दशरथ पुत्र कौशल्या नन्दन बालक राम का बाल्यकाल वर्तमान परिदृश्य के लिए सर्वाधिक प्रेरणादायी है। प्रकृति के पञ्चभूत -पञ्चतत्वों यथा - भूमि, जल,आकाश, अग्नि वायु से लेकर माता -पिता , गुरुजनों, सम्पूर्ण समाज के प्रति जिस आदर एवं श्रद्धा के मानकों को स्थापित किया है ,वह अनुकरणीय है। विद्या अध्ययन के सम...
ईश्वरीय शक्ति का अद्भुत चमत्कार है श्रमिकों का सुरक्षित बाहर निकलना!

ईश्वरीय शक्ति का अद्भुत चमत्कार है श्रमिकों का सुरक्षित बाहर निकलना!

EXCLUSIVE NEWS, TOP STORIES, धर्म
मृत्युंजय दीक्षितउत्तराखंड राज्य के उत्तरकाशी जिले के पास सिलक्यारा सुरंग में 17 दिन से फंसे आठ राज्यों के 41 कर्मवीरों को 17 दिन बाद सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया है । इस खतरनाक हादसे और फिर कर्मवीरों को सुरक्षित बाहर निकालने के लिए जिस प्रकार आपरेशन जिंदगी चलाया गया अदभुत जीवटता का कार्य है। श्रमिकों को सुरंग से बाहर निकालने के लिए चलाये जा रहे अभियान पर भारत ही नहीं अपितु पूरे विश्व की दृष्टि थी । अंततः भारत के 140 करोड़ लोगों की प्रार्थना और विशेषज्ञों, कार्यकर्ताओं और नेतृत्व के श्रम और अनथक प्रयासों का सकारात्मक प्रतिफल मिला और 17 दिन बाद सभी कर्मवीरों के घरों में खुशियों के दीप जलाये गये । सुरंग में फंसे 41 मजदूरों को बाहर निकालने की यह घटना एक बहुत ही महत्वपूर्ण है और अध्ययन किये जाने योग्य है।इस घटना का एक महत्वपूर्ण पक्ष यह रहा कि जहां विदेशी मशीनों ने ने भी साथ छोड़ दिया और परिस...
राजनीतिक विरोध में ऐसी भाषा अंदर से हिला देती है

राजनीतिक विरोध में ऐसी भाषा अंदर से हिला देती है

BREAKING NEWS, TOP STORIES, समाचार
अवधेश कुमारराजनीतिक दलों में नेता अपने विरोधियों और प्रतिस्पर्धियों के विरुद्ध जैसे शब्द और विचार प्रकट करने लगे हैं वो किसी भी विवेकशील व्यक्ति को अंदर से हिलाने वाला है। विश्व कप क्रिकेट में भारत की पराजय के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को केंद्र बनाकर जिस तरह के शब्द और विचार शीर्ष स्तर के नेताओं द्वारा प्रकट किए गए उनकी सभ्य समाज में कल्पना नहीं की जा सकती। राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के लिए पनौती शब्द प्रयोग किया। पनौती का सामान्य अर्थ होता है ऐसा व्यक्ति जो जहां जाएगा वही बंटाधार कराएगा। जैसे हम गांव मोहल्ले में किसी के बारे में बोलते हैं कि अरे, सुबह-सुबह उसका चेहरा देख लिया, पूरा दिन बर्बाद हो गया, वह नहीं होता तो हम सफल होते आदि आदि। राहुल गांधी ने कहा कि अच्छे भले लड़के खेल रहे थे, गया और हरवा दिया। उन्होंने कहा कि पीएम मतलब पनौती मोदी। कांग्रेस के शीर्ष नेताओं में...
कांग्रेस पार्टी को कैसे समझें 3

कांग्रेस पार्टी को कैसे समझें 3

BREAKING NEWS, TOP STORIES, विश्लेषण
- प्रो. रामेश्वर मिश्र पंकज1784 ईस्वी आते-आते ईस्ट इंडिया कंपनी के द्वारा भारत से कमाये जा रहे व्यापारिक मुनाफे और लूट के माल की चर्चा इंग्लैंड में फैलने लगी। क्योंकि बंगाल के केवल तीन जिलों की केवल लगान वसूली के बड़े हिस्से को राजा के खजाने में जमा न करके उसे लंदन ले जाने पर वहाँ के स्टॉक मार्केट में तूफान आ गया और भारत के सोने-चांदी तथा धन-दौलत की चर्चा होने लगी। इसलिये इंग्लैंड की संसद ने जो तब तक केवल राजपरिवार और जागीरदारों तथा बड़े पादरियों की महासभा थी, वयस्क मताधिकार से चुनी गई संसद नहीं थी (वह तो 20वीं शताब्दी ईस्वी के मध्य तक ही बन पाई), इसलिये कंपनी के मुनाफे पर इंग्लैंड के राजन्य वर्ग की नजर रहने लगी। तब उसने भारतीय वीर समुदायों को अपने व्यापार के रक्षक दल के रूप में भर्ती करने की प्रेरणा दी। इस रक्षक दल का नाम रखा गया - रॉयल बेंगाल आर्मी, इसमें संपूर्ण वर्तमान उत्तरप्रदेश (मु...
बदली प्रवृत्तियों को समझने से आकलन संभव होगा

बदली प्रवृत्तियों को समझने से आकलन संभव होगा

TOP STORIES, सामाजिक
अवधेश कुमारमध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ और राजस्थान में मतदान संपन्न होने के बावजूद आम विश्लेषकों की प्रतिक्रिया है कि परिणाम की स्पष्ट भविष्यवाणी कठिन है। इसका अर्थ क्या है? इन तीनों राज्यों में भाजपा और कांग्रेस के बीच ही मुख्य मुकाबला रहा है और वही प्रवृत्ति इस बार भी है। अगर मुख्यतः दो पार्टियों के मुकाबले के बीच परिणाम का आकलन करने से हम बच रहे हैं तो इससे कई कारण सामने आते हैं। किसी भी चुनाव के परिणाम कई कारकों पर निर्भर करते हैं जिनमें मतदाताओं की आकांक्षा पार्टियों द्वारा उठाए गए मुद्दे, उम्मीदवार राज्य स्तर पर सत्ता पक्ष और विपक्ष के समर्थन या विरोध में पहले से निर्मित माहौल , नेतृत्व तथा राष्ट्रीय व प्रादेशिक वातावरण। हम आम मतदाता तक नहीं पहुंच पाए या पहुंच कर भी उनकी अभिप्सा भांप नहीं पाए। चुनावों में जो मुद्दे पार्टियों ने उठाये वो जनता के अंतर्मन में कितने गए, उनके पक्ष और विपक्ष मे...