
ऑनलाइन पढाई बच्चों को रास नहीं आई
ऑनलाइन शिक्षा के परिणाम समाज के सामने आने लगे है | बच्चों और उनके अभिभावकों का एक बड़ा प्रतिशत एकाएक गाज की तरह सर पर आ गिरी इस मुसीबत से दो-दो हाथ करने के लिए तैयार नहीं थे | जिन बच्चों ने कभी घर पर किताब खोली तक नहीं थी, अब उन्हें घर पर ही बैठकर पढ़ना पड़ रहा है। यह और बात है कि किताब-कापी उन्हें अब भी नहीं खोलनी, बस कंप्यूटर खोलना है। बड़े नामी स्कूल तो पूरी बेहरहमी के साथ घर में भी स्कूली यूनिफार्म के साथ ऑन लाइन होने की हिदायत देते हैं | मध्यम श्रेणी स्कूल भी बड़े स्कूलों की तरह पूरी निष्ठुरता से फ़ीस वसूल रहे है | इन स्कूलों ने छात्रों को स्कूलों की वर्दी आदि से छूट है|
ऑनलाइन शिक्षा में आ रही दिक्कतों के कारण करीब ४३ प्रतिशत दिव्यांग बच्चे पढ़ाई छोड़ने की तैयारी कर रहे हैं। एक सर्वेक्षण में यह बात सामने आयी है। दिव्यांग लोगों के अधिकारों के लिए काम करने वाले संगठन स्वाभिमान ने मई में ओ...